आंध्र में रथ को आग लगाने के मामले से जगन मोहन रेड्डी की सरकार में हड़कंप मच गया है। मुख्यमंत्री वाईएस जगन मोहन रेड्डी ने शासन में पारदर्शिता की नीति को ध्यान में रखते हुए अतरवेद्य लक्ष्मी नरसिंह स्वामी मंदिर के रथ को तहस-नहस करने वाली आग की जांच सीबीआई को सौंपने का संकल्प लिया है। आग लगने का कारण जानने के उद्देश्य से यह निर्णय लिया गया।
मुख्यमंत्री ने पुलिस महानिदेशक (डीजीपी) को मामले की जांच प्रमुख जांच एजेंसी को सौंपने का निर्देश दिया है। निर्देशों के बाद डीजीपी कार्यालय ने केंद्रीय गृह मंत्रालय को इस आशय का पत्र लिखा है। अधिकारियों ने बताया कि इस आशय का पत्र शीघ्र ही इस मामले पर जारी किया जाएगा। विपक्षी दल और तेलुगु देशम प्रमुख एन चंद्रबाबू नायडू सीबीआई जांच की मांग कर रहे थे। सीएम ने आग के विषय को गंभीरता से लिया है और जहां राज्य पुलिस अपनी तरफ से पूरी कोशिश कर रही है, वहीं राजनीतिक और अन्य समूहों की ओर से सरकार पर आरोप-प्रत्यारोप का आह्वान किया गया.
किसी को माफ नहीं किया जाएगा और इसमें शामिल लोगों के खिलाफ कड़ी कार्रवाई की जाएगी, चाहे उनकी स्थिति कुछ भी हो, सरकार का रुख था. इस दौरान वासर्क विधायक व पार्टी प्रवक्ता अंबाती रामबाबू ने कहा कि इस हादसे में सरकार की उदासीनता नहीं है, क्योंकि सरकार ने तेजी से उपाय शुरू किए थे। उन्होंने कहा कि पहले नायडू को सीबीआई पर भरोसा नहीं था और उन्होंने अपने कार्यकाल के दौरान एजेंसी पर प्रतिबंध लगा दिया था लेकिन अब वह एपी पुलिस पर अविश्वास कर रहे हैं और उन्होंने सीबीआई पर विश्वास करना शुरू कर दिया था जो उनकी राजनीतिक अवसरवादिता को दर्शाता है.
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