गुंटूर: आंध्र प्रदेश के शिक्षा मंत्री नारा लोकेश ने गुरुवार (8 अगस्त) को कहा कि प्रदेश, भारत की पहली कौशल जनगणना (Skill Census) पहल शुरू करेगा, जिसका उद्देश्य युवाओं के कौशल की पहचान करना और उन्हें बढ़ाना है, ताकि उनकी रोजगार संभावनाओं में सुधार हो सके। मंत्री ने कौशल विकास अधिकारियों के साथ एक उच्च स्तरीय समीक्षा बैठक की और उन्हें कौशल जनगणना के लिए सभी आवश्यक प्रबंध करने के निर्देश दिए। ये जनगणना, विपक्ष की जाति जनगणना के दावों से बिलकुल उलट है, जिसे केवल जातियां गिनकर समाज को विभाजित करने और उन्हें वोट बैंक की तरह इस्तेमाल करने की कोशिश माना जा रहा है। वहीं, कौशल जनगणना में सभी धर्म-वर्ग के लोग समान होंगे और सभी युवाओं के लिए एक समान अवसर उपलब्ध होंगे। जहाँ युवाओं को अपना हुनर निखारने के अवसर के साथ, रोज़गार के रास्ते भी मिलेंगे।
नारा लोकेश ने कहा कि कौशल जनगणना का प्राथमिक लक्ष्य विस्तृत जानकारी एकत्र करना, कौशल विकास को बढ़ावा देना, रोजगार के अवसर प्रदान करना और युवाओं की आर्थिक स्थिति में सुधार करना है। यह पहल शुरू में पायलट प्रोजेक्ट के तौर पर एक निर्वाचन क्षेत्र में शुरू की जाएगी, बाद में इसे पूरे राज्य में विस्तारित किया जाएगा। उन्होंने कार्यक्रम के परिणामों को बढ़ाने के लिए आर्टिफिशियल इंटेलिजन्स (AI) को शामिल करने का भी सुझाव दिया, तथा गणनाकर्ताओं को प्रशिक्षण प्रदान करने और युवाओं में जागरूकता बढ़ाने के महत्व पर बल दिया।
कौशल जनगणना के हिस्से के रूप में, सरकार विभिन्न क्षेत्रों में रुचि रखने वाले युवाओं की पहचान करेगी, उन्हें विशेष प्रशिक्षण प्रदान करेगी और प्रतिष्ठित संगठनों के साथ मिलकर प्रमाणपत्र जारी करेगी। इन प्रमाणपत्रों से न केवल राज्य के भीतर बल्कि नौकरी डॉट कॉम और लिंक्डइन जैसे प्लेटफार्मों के माध्यम से और यहां तक कि अन्य राज्यों और देशों में भी नौकरी की संभावनाएं बढ़ने की उम्मीद है। मंत्री ने राज्य से बाहर और विदेश में शिक्षा प्राप्त करने वाले छात्रों के लिए अपना विवरण ऑनलाइन दर्ज करने का प्रावधान करने की भी सिफारिश की। उन्होंने कहा कि कौशल जनगणना का अंतिम उद्देश्य युवाओं के कौशल को डिजिटल बनाना और उनके लिए बेहतर अवसर खोलना है।
बैठक के दौरान मुख्यमंत्री चंद्रबाबू नायडू की अध्यक्षता में आगामी सत्र में परिचालन प्रक्रियाओं को अंतिम रूप देने का निर्णय लिया गया। गुरुवार को बैठक में आईटी एवं इलेक्ट्रॉनिक्स सचिव सौरभ गौड़, कौशल विकास के प्रबंध निदेशक जी गणेश कुमार, एनएसीके के एडीजी दिनेश कुमार, सीडीएपी के सीईओ श्रीनिवासुलु और ओमकैप के प्रबंध निदेशक क्रांति शामिल थे।
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