मुजफ्फरपुर : देश में एक बार फिर केश की किल्लत का सामना कर न पड़ रहा है. अधिकतर एटीएम में कैश नहीं और जहां कैश है वहां लोगों की लंबी कतार नोटबंदी की पुनरावृत्ति वाले हालत पैदा कर रही है. एटीएम हैं मगर इनमे पिछले कई महीनों से कैश नहीं डाला गया है. चालीस फीसद को कैश नसीब नहीं हो रहा है. दस फीसद में जहां कैश डाले जा रहे हैं वो लोगों की जरुरतें पूरी नहीं कर पा रहे हैं. नोटबंदी से पूर्व जिले में विभिन्न बैंकों के करीब 400 एटीएम थे. इनमें अधिकतर में हर समय कैश होते थे, मगर अब अधिकतर कैश के बिना डेड हो गए हैं.
कैश की मांग पूरी नहीं : जिले को आवश्यकता के अनुसार कैश नहीं मिल पा रहा है. डिमांड का 20-25 फीसद ही कैश मिल रहा है. इससे जिले में कैश का संकट गहराता जा रहा है. बैंकों से भी कैश गायब हो रहे हैं. ग्राहक द्वारा जमा होने वाले कैश ही दूसरे ग्राहकों को देने की नौबत है.
जानकारों के अनुसार जिले को प्रतिदिन करीब दो हजार करोड़ कैश की आवश्यकता है, मगर मात्र 300 से 400 करोड़ ही मिल रहे हैं. 2000, 500 एवं 200 के नोट नाममात्र के मिल रहे हैं. 50 एवं 20 के नोट ही मिल रहे हैं. भारतीय स्टेट बैंक के डीजीएम अनिल ग्रोवर ने कहा कि बड़े नोट काफी कम मिलने से एटीएम संचालन में काफी परेशानी हो रही है.
गर्मियों में यौन सम्बन्ध बना रहे हैं तो आज़माइये ये तरीके
शहर के ज्यादातर एटीएम में रुपये नहीं