दिल्ली. दक्षिण अफ्रीका में टीम इंडिया की हर ने कर आम और खास को तंज कसने का मौका दे दिया है. अब हिस्टॉरियन रामचंद्र गुहा BCCI और कप्तान विराट कोहली पर बरस पड़े है. उन्होंने बेहद सख्त लहजे में कहा कि ''बोर्ड के अधिकारी विराट कोहली को जितना पूजते हैं, उतना तो केंद्र सरकार में कैबिनेट के सदस्य प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को भी नहीं पूजते होंगे'' गुहा ने बीसीसीआई को विराट के अहंकार के आगे समर्पण कर चुकी संस्था बताया''. गुहा ने अपनी भड़ास अपने एक आर्टिकल के जरिए निकली. गुहा क्रिकेट का कामकाज देखने के लिए सुप्रीम कोर्ट द्वारा गठित कमेटी ऑफ एडमिनिस्ट्रेटर के मेंबर रह चुके है. उन्होंने भारतीय क्रिकेट में सुपरस्टार कल्चर के कारण चार महीने में ही पद त्याग दिया था. गुहा ने सीओए प्रमुख विनोद राय, सचिन तेंडुलकर, सौरव गांगुली और वीवीएस लक्ष्मण को भी आड़े हाथो लिया.
आर्टिकल के कुछ प्रमुख कटाक्ष -
- अनिल कुंबले को हटाकर रवि शास्त्री जैसे साधारण क्रिकेटर को सिर्फ इसलिए टीम इंडिया का कोच बनाया गया क्योंकि इन लोगों ने विराट कोहली के रुतबे के आगे सरेंडर कर दिया.
- जिन मामलों में कप्तान की कोई भूमिका नहीं होती, उसमें भी विराट की दखलअंदाजी थी.
- बोर्ड अधिकारी उन मुद्दों पर भी विराट कोहली से राय लेते थे, जो भारतीय कप्तान के दायरे में नहीं आते. मामला चाहे फ्यूचर टूर प्रोग्राम (एफटीपी) तैयार का हो या नेशनल क्रिकेट एकेडमी को चलाने का, विराट की दखल सब जगह है.
- स्थिति यहां तक पहुंच गई थी कि बोर्ड ने सीईओ ने कहा कि विराट की राय की इन मामलों पर आखिरी होगी.
- मौजूदा वक्त में कोचिंग स्टाफ, सिलेक्शन कमेटी और एडमिनिस्ट्रेटर सभी विराट कोहली के आगे बौने हैं.
- कुंबले बड़े कद के क्रिकेटर थे. वे भारतीय क्रिकेट इतिहास के सबसे बड़े मैच विनर बॉलर थे. वे अपने कद और भूमिका दोनों से वाकिफ थे. इसलिए वे हर बार कप्तान की बात नहीं मानते थे.
- कुंबले देश में इकलौते व्यक्ति थे जो कद और रुतबे में विराट की बराबरी पर थे. शायद यही उनकी विदाई का कारण भी है.
- शास्त्री जैसे कमजोर कोच की खामियां भारत में हुए मैचों और सीरीज के दौरान छुप गई. लेकिन, अब टीम विदेशी दौरे पर हैं और सारी सच्चाई उजागर होने लगी है.
- विराट निश्चित तौर पर बेहतरीन बल्लेबाज हैं. वे मेरी ऑल टाइम ड्रीम इंडियन टीम के सदस्य हैं.
- उनका घमंड टीम के काम नहीं आ रहा. यह उनके अपने खेल के लिए ठीक होगा, लेकिन, इससे टीम का नुकसान हो रहा है.
- विराट खुद में सुधार करें तो भारतीय क्रिकेट के लिए अच्छा होगा. मैं चाहता हूं कि जब वे रिटायर हों तो मैं उन्हें अपनी ड्रीम टीम का कप्तान भी बनाऊं.
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