भारत एक ऐसा देश है जहाँ के मंदिरों में दान का सिलसिला हर दिन किसी न किसी रूप में चलता ही रहता है. राजनताओं के द्वारा और सेलिब्रिटीज के अलावा बहुत ही कम लोग ऐसे होते हैं, जिनके दान को मीडिया कभी तवज्जो देता हो. हाल ही में मैसूर के Vontikoppal स्थित प्रसन्ना अंजनेया स्वामी मंदिर में एक 85 वर्षीय महिला ने 2.5 लाख रुपये दान दिए. ऍमवी सीतालक्ष्मी नाम की ये महिला इसलिए भी सुर्ख़ियों में छाई हुई है क्योंकि पिछले एक दशक से ये मंदिर के गेट पर भीख मांगा करती थी.
महिला ने ये राशि मंदिर में आने वाले श्रद्धालुओं को बेहतर सुविधाएं और प्रसाद प्रदान करने के लिए दान की है. जैसे ही श्रद्धालुओं को इस बात का पता चला, वो महिला से मिल कर उन्हें बधाई दे कर आशीर्वाद ले रहे हैं. अपने भाई और भाभी के साथ रहने वाली महिला किसी पर निर्भर नहीं रहना चाहती थी, इसीलिए वो मंदिर में आ कर बैठ जाया करती थी, जहां मंदिर प्रशासन उनका ध्यान रखा करता था. मंदिर के चेयरमैन का कहना है कि उन्होंने कभी किसी से कुछ नहीं मांगा. मंदिर के एक समारोह के दौरान विधायक उन्हें सम्मानित भी कर चुके हैं.
कुछ दिनों पहले ही गणेश महोत्सव के दौरान भी ये महिला करीब 30 हज़ार रूपये मंदिर में दान कर चुकी है. मंदिर ट्रस्ट के चेयरमैन को लेकर वो बैंक गईं, जहां उन्होंने 2 लाख रुपये मंदिर के नाम से दान कर दिए. कुल मिला कर ये महिला 2.5 लाख रुपये से ज़्यादा दान कर चुकी है. इंटरव्यू में सीतालक्ष्मी ने कहा कि "लोग जो भी पैसा मुझे देते थे मैं उन्हें बैंक में जमा कर देती थी. इसलिए ये पैसे मैंने उस मंदिर ने दान करने का फ़ैसला लिया, जो दिन भर मेरा ख़्याल रखता था."
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