इंदौर: मध्यप्रदेश के इंदौर से मिल रही एक बड़ी खबर के अनुसार संत भय्यू जी महाराज ने खुद को गोली मारकर आत्महत्या कर ली है. मिल रही खबर के अनुसार भय्यू महाराज ने खुद की कनपटी पर गोली मारी है जिसके बाद उन्हें हॉस्पिटल ले जाया गया. मौत से कुछ देर पहले ही किया था भय्यू महाराज ने ट्वीट.
आज मासिक शिवरात्रि है। यह प्रत्येक माह की कृष्ण पक्ष की चतुर्दशी तिथि को मनाई जाती है। हिन्दू धर्म में इस शिवरात्रि का भी बहुत महत्त्व है। 'शिवरात्रि' भगवान शिव और शक्ति के अभिसरण का विशेष पर्व है।
— Bhaiyyuji Maharaj (@bhaiyujimaharaj) June 12, 2018
बता दें, भय्यू जी महाराज ने मौत से कुछ देर पहले ही तीन ट्वीट एक साथ किए, जिसमें उन्होंने मासिक शिवरात्रि के बारे में बताया, उन्होंने लिखा कि "आज मासिक शिवरात्रि है। यह प्रत्येक माह की कृष्ण पक्ष की चतुर्दशी तिथि को मनाई जाती है। हिन्दू धर्म में इस शिवरात्रि का भी बहुत महत्त्व है। 'शिवरात्रि' भगवान शिव और शक्ति के अभिसरण का विशेष पर्व है।"
धार्मिक मान्यता है कि 'मासिक शिवरात्रि' के दिन व्रत आदि करने से भगवान शिव की विशेष कृपा द्वारा कोई भी मुश्किल और असम्भव कार्य पूरे किये जा सकते हैं।
— Bhaiyyuji Maharaj (@bhaiyujimaharaj) June 12, 2018
'अमांत पंचांग' के अनुसार माघ मास की 'मासिक शिवरात्रि' को 'महाशिवरात्रि' कहते हैं;
वहीं इसके बाद ही उन्होंने दूसरा ट्वीट किया जिसमें लिखा कि "धार्मिक मान्यता है कि 'मासिक शिवरात्रि' के दिन व्रत आदि करने से भगवान शिव की विशेष कृपा द्वारा कोई भी मुश्किल और असम्भव कार्य पूरे किये जा सकते हैं।
'अमांत पंचांग' के अनुसार माघ मास की 'मासिक शिवरात्रि' को 'महाशिवरात्रि' कहते हैं;"
'मासिक शिवरात्रि' को 'महाशिवरात्रि' कहते हैं। दोनों पंचांगों में यह चन्द्र मास की नामाकरण प्रथा है, जो इसे अलग-अलग करती है। मै सभी भक्तगणों को इस पवन दिवस की बधाई एवं शुभकामनाये देता हु. pic.twitter.com/PrBf0rw5ZV
— Bhaiyyuji Maharaj (@bhaiyujimaharaj) June 12, 2018
वहीं आखिरी ट्वीट में उन्होंने एक फोटो अपलोड कर लिखा कि "'मासिक शिवरात्रि' को 'महाशिवरात्रि' कहते हैं। दोनों पंचांगों में यह चन्द्र मास की नामाकरण प्रथा है, जो इसे अलग-अलग करती है। मै सभी भक्तगणों को इस पवन दिवस की बधाई एवं शुभकामनाये देता हु."
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