थिम्फु: भूटान की प्राकृतिक सुंदरता भारतीय पर्यटकों को अपनी तरफ आकर्षित करती रही है. भारत से प्रति वर्ष हजारों पर्यटक भूटान जाते हैं. भारत से पर्यटकों के बड़ी तादाद में भूटान जाने की वजह यह है यहां पर जाने के लिए कोई शुल्क अभी तक नहीं देना होता था. किन्तु फिलहाल भूटान सरकार की एक नई स्कीम इसे बदलने वाली है.
भूटान सरकार ने भारतीय पासपोर्ट धारकों के लिए देश में मुफ्त एंट्री बंद करने का निर्णय लिया है. देश पर पर्यटकों के भारी बोझ को काबू करने के लिए भूटान सरकार ने यह कदम उठाया है. भूटान ने हाल में ही नियमों में परिवर्तन किए हैं, अब जुलाई, 2020 से भारतीय पर्यटकों को भूटान जाने के लिए रोज़ाना के हिसाब से 1,200 रुपए का भुगतान करना होगा. अन्य देश जो भूटान की इस योजना में शामिल रहेंगे, वे मालदीव और बांग्लादेश हैं. वहीं 6 से 12 वर्ष के बच्चों के लिए यह शुल्क 600 रुपए होगा. इस शुल्क को सस्टेनेबल डेवलपमेंट फीस कहा जा रहा है.
भारतीय पासपोर्ट धारकों के लिए SDF के तहत लगने वाला शुल्क, अन्य देशों के मुसाफिरों के लिए रखी गई फीस की अपेक्षा बेहद कम है. अन्य देशों के मुसाफिरों को अब करीब 65 डॉलर (4,631 रुपए) की कंपल्सरी फीस भूटान यात्रा के लिए चुकानी होगी. इसके साथ ही अन्य देशों के यात्रियों को 250 डॉलर (17,811 रुपए) का फ्लैट कवर चार्ज का भी भुगतान करना होगा. देश की नेशनल असेंबली ने इस शुल्क को लागू करने के लिए टूरिज्म लेवी एंड एक्सम्पशन बिल ऑफ भूटान, 2020 नाम का एक बिल पारित किया है.
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