जयपुर: कांग्रेस महासचिव अजय माकन राजस्थान प्रभारी का पद छोड़ना चाहते हैं। उन्होंने अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खड़गे को चिट्ठी लिखकर बताया कि अब उन्हें इस जिम्मेदारी से मुक्त किया जाए। सूत्रों के मुताबिक, 8 नवंबर को लिखी गई इस चिट्ठी में माकन ने जयपुर में 25 सितंबर के सियासी घटनाक्रम का हवाला दिया है।
सीएम अशोक गहलोत को अध्यक्ष पद की दौड़ में सबसे आगे माना जा रहा था। इसलिए कांग्रेस अध्यक्ष चुनाव से पहले इस मीटिंग को मुख्यमंत्री बदलने की कवायद के तौर पर देखा गया। हालांकि, सीएलपी की मीटिंग नहीं हो सकी, क्योंकि गहलोत के वफादार विधायकों ने संसदीय कार्य मंत्री शांति धारीवाल के आवास पर समानांतर बैठक की तथा सचिन पायलट को सीएम बनाने के किसी भी संभावित कदम के विरुद्ध विधानसभा अध्यक्ष सी पी जोशी को अपना इस्तीफा सौंप दिया।
वही इन विधायकों का कहना था कि यदि विधायक दल का नया नेता चुनना है तो वह उन 102 विधायकों में से हो, जिन्होंने जुलाई 2020 में सियासी संकट के चलते अशोक गहलोत नीत सरकार का समर्थन किया था। तब पायलट एवं 18 अन्य विधायकों ने गहलोत के खिलाफ बगावत की थी। तत्पश्चात, कांग्रेस की अनुशासनात्मक समिति ने मंत्री शांति धारीवाल एवं महेश जोशी तथा पार्टी के नेता धर्मेंद्र राठौड़ को उनकी इस ‘घोर अनुशासनहीनता’ के लिए कारण बताओ नोटिस जारी किया तथा उनसे 10 दिन के अंदर यह बताने के लिए कहा कि उनके खिलाफ कार्रवाई क्यों न की जाए।
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