जबलपुर: मध्य प्रदेश की बिजली कंपनियां उन उपभोक्ताओं पर निरंतर बोझ बढ़ती चली जा रही है जो नियमित तौर पर बिजली का बिल अदा करते हैं। 1 जनवरी 2023 से फ्यूल कॉस्ट एडजस्टमेंट के नाम पर कीमतें बढ़ा दी गई। अब प्रति यूनिट 34 पैसे अतिरिक्त देने पड़ेंगे। मध्यप्रदेश में ग्राहक सिर्फ बिजली खरीदता है लेकिन बिजली कंपनियां उससे दर्जनों तरह की वसूली करती है। हर बार बिजली का दाम एक्चुअल प्रोडक्शन कॉस्ट पर तय नहीं होती इसके बाद भी फ्यूल कॉस्ट एडजस्टमेंट के नाम पर हर 3 महीने में बिजली महंगी कर दी जाती है।
वही बीते 1 वर्ष में प्रति यूनिट 37 पैसा अतिरिक्त का इजाफा किया गया है। बिजली कंपनी के अफसरों का कहना है कि, भारत सरकार ने खदानों से कोयला नहीं निकाला। इसलिए विदेशी कोयला खरीदना पड़ रहा है। वह महंगा है इसलिए फ्यूल कॉस्ट एडजेस्टमेंट लगाना पड़ रहा है।
वही बिजली कंपनियों का बड़ा अजीब सिस्टम है। कंपनी के अफसर कहते हैं कि उनकी मजबूरी को जनता को समझना पड़ेगा लेकिन जनता की मजबूरी को वह समझने के लिए तैयार नहीं है। अगर आपने बिल नहीं भरा तो कनेक्शन कट हो जाएगा। बिल नहीं भर पाए तो समाज में अपमानित करेंगे तथा घर में टेलीविज़न फ्रिज कूलर सब उठाकर ले जाएंगे। बता दे कि इससे पहले CNG और LPG के दामों में बढ़ोतरी की गई थी वही अब ये आमजन के लिए बड़ा झटका साबित हो सकता है।
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