मुंबई: शनिवार को NCP अध्यक्ष शरद पवार ने कहा कि ऐसा लगता है कि भाजपा राज्य स्तरीय पार्टियों को "नष्ट" करने और विपक्ष को कमजोर करने की योजना बनाए हुए है। अपने भतीजे अजित पवार एवं राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी के कई अन्य विधायकों के उनके खिलाफ विद्रोह करने एवं महाराष्ट्र में शिवसेना-बीजेपी सरकार में सम्मिल्लित होने के कुछ दिनों पश्चात्, शरद पवार पार्टी कार्यकर्ताओं को फिर से एकजुट करने की कोशिश में सड़क पर उतरे।
वही नासिक में मीडिया से चर्चा करते हुए उन्होंने कहा कि 'उन्होंने पूर्व प्रधानमंत्रियों जवाहरलाल नेहरू, इंदिरा गांधी, राजीव गांधी, अटल बिहारी वाजपेयी और पीवी नरसिम्हा राव की राजनीति देखी है, ये सभी विपक्षी दलों की आलोचना एवं विरोध करते थे मगर कभी भी उन्हें चुप कराने का प्रयास नही किया। उन्होंने कहा, "ऐसा लगता है कि बीजेपी की राज्य स्तरीय पार्टियों को नष्ट करने की योजना है। उन्होंने कई स्थानों पर ऐसा किया है। चुनावी लोकतंत्र में, विपक्षी दल भी उतना ही अहम है जितना कि सत्तारूढ़ दल, लेकिन बीजेपी की नीति विपक्ष को कमजोर करने की है। शरद पवार ने कहा कि बीजेपी जानती है कि उसके लिए क्या होने वाला है और इसलिए वह 2024 में लोकसभा में बहुमत सुनिश्चित करने के लिए अन्य दलों को तोड़ रही है। उन्होंने कहा कि यह चुनावी लोकतंत्र के लिए बहुत हानिकारक है। शरद पवार ने यह भी कहा कि वह उन लोगों पर विचार नहीं करते जिनसे उनका मतभेद है। उन्होंने कहा, 'मतभेद का मतलब दुश्मनी नहीं है।
वहीं, शरद पवार ने मीडिया से चर्चा के दौरान हुई बातचीत में माना कि उनकी 2014 और 2019 के चुनावों में भाजपा के साथ बातचीत हुई थी मगर विचारधारा अलग होने से बातचीत आगे नहीं बढ़ी। अपने भतीजे अजित पवार की बगावत पर प्रतिक्रिया देते हुए पवार ने कहा कि वह 82 वर्ष की आयु में भी काम कर सकते हैं। शरद पवार की यह टिप्पणी अजित पवार के उस बयान के कुछ दिन पश्चात् आई है जिसमें उन्होंने कहा था कि अब वक़्त आ गया है कि उनके चाचा रिटायरमेंट ले लें तथा राकांपा की कमान उन्हें सौंप दें।
'मनीष सिसोदिया को लेकर झूठ फैला रही भाजपा, माफ़ी मांगे..', भड़कीं आतिशी मार्लेना, लगाया ये आरोप
'जिसने बीच में ही स्कूल छोड़ दिया वो आई शिक्षा का ज्ञान देने', जानिए आखिर क्यों काजोल पर भड़के लोग?