श्रीनगर: जम्मू-कश्मीर के पुंछ जिले के सुरनकोट इलाके में बुधवार (17 नवंबर) को एक शिव मंदिर के पास बस स्टैंड पर विस्फोट हुआ। ब्लास्ट के बाद हिंदू मंदिर की दीवारों पर छर्रे लगे मिले। किसी के हताहत होने की कोई आधिकारिक पुष्टि नहीं हुई है। यह घटना यहां पुंछ में हिंदू और सिख परिवारों को घर छोड़ने की धमकी देने वाले रहस्यमय पोस्टर सामने आने के ठीक एक माह बाद हुई है। घटना के बाद इलाके में दहशत का माहौल हो गया। पुलिस ने फोरेंसिक टीम को मौके पर बुलाया है और विस्फोट स्थल के आसपास सुरक्षा कड़ी कर दी गई है।
सामने आए वीडियो में बंदूकों के साथ सुरक्षाकर्मियों को मंदिर के अंदर जायजा लेते देखा जा सकता है। मंदिर की दीवारों पर कई जगह छेद और निशान भी दिखाई देते हैं। जैसा कि अधिकारियों ने इसे 'रहस्यमय' विस्फोट बताया, जमीन पर एक गड्ढा बन गया। विस्फोट का कारण अभी तक पता नहीं चल सका है। हालांकि, सूत्रों ने कहा कि यह ग्रेनेड हमला हो सकता है। सुरक्षा एजेंसियों ने जांच शुरू कर दी है। इस बीच, घटना के बारे में बात करते हुए मंदिर के पुजारी अतुल शर्मा ने बताया है कि विस्फोट बुधवार रात करीब 8.50 बजे हुआ। उन्होंने याद करते हुए बताया कि वह मंदिर के दरवाजे पर खड़े थे, जब उन्होंने एक तेज़ आवाज़ सुनी।
उन्होंने कहा कि गार्ड ने उन्हें विस्फोट के बारे में सूचित किया और उनसे मंदिर परिसर में प्रवेश न करने का आग्रह किया। इसके बाद, पुजारी ने संबंधित अधिकारियों को बुलाया। इसके बाद थानेदार और डीएसपी घटनास्थल पर पहुंचे। पुजारी अतुल शर्मा ने आगे कहा कि भारतीय सेना के जवान भी घटनास्थल पर पहुंचे और स्थिति का आकलन किया। पुजारी ने बताया है कि विस्फोट से कोई नुकसान नहीं हुआ, हालांकि विस्फोट इतना जोरदार था कि हर कोई डर गया और इधर-उधर भागने लगा। कई लोग शरण लेने के लिए मंदिर के अंदर भागे।
बता दें कि, लश्कर के तीन आतंकवादियों को उसी इलाके से और उसी दिन गिरफ्तार किया गया था, जिस दिन विस्फोट हुआ था। गौरतलब है कि जिस दिन धमाका हुआ था, पुलिस ने पुंछ जिले में कई ड्रग तस्करों के घरों पर नोटिस लगाया था। इसके अलावा, पुलिस ने सलेन गांव से एक सरकारी शिक्षक समेत तीन आतंकवादियों को भी गिरफ्तार किया था, जो उसी क्षेत्र में है जहां विस्फोट हुआ था। आरोपियों की पहचान अब्दुल रशीद सालियान, मेहराज अहमद और अजाज अहमद शेख (सरकारी शिक्षक) के रूप में हुई थी।
गिरफ्तार किए गए लोगों के पास से दो पिस्तौल, चार मैगजीन, छह मोबाइल फोन और 2.5 लाख रुपये नकद बरामद हुए थे। पुलिस ने पुष्टि की कि आरोपी को खेप, जो कथित तौर पर सीमा पार से लाई गई थी, को मुगल रोड के माध्यम से एक टेंपो ट्रैवलर में दक्षिण कश्मीर तक पहुंचाना था। उस सफारी गाड़ी को भी जब्त कर लिया गया है, जिसमें आतंकी गुर्गों को खेप को टेंपो ट्रैवलर में शिफ्ट करना था। कथित तौर पर आतंकी मॉड्यूल पाकिस्तानी आतंकवादी समूह लश्कर-ए-तैयबा (LeT) से संबंधित था। मामला दर्ज कर तीनों से पूछताछ की जा रही है।
हिन्दू-सिख कश्मीर छोड़ो :-
बता दें कि ठीक एक महीने पहले 14 अक्टूबर को जम्मू-कश्मीर के पुंछ जिले में हिंदू और सिख परिवारों को घर छोड़ने की धमकी देने वाले रहस्यमयी पोस्टर सामने आए थे। कई आवासों पर पोस्टर चिपका दिए गए और चेतावनी दी गई कि वे अपनी संपत्ति खाली कर दें अन्यथा परिणाम भुगतने को तैयार रहेंगे। 14 अक्टूबर की शाम करीब 6 बजे लोगों ने अपने घरों के बाहर चेतावनी देखी, जिससे वे घबरा गए। पोस्टरों पर अंकित उर्दू संदेश के अनुसार 'सभी हिंदुओं और सिख समुदाय को याद दिलाया जाता है कि वे जल्द से जल्द इस क्षेत्र को छोड़ दें। अन्यथा, आपको इसकी भारी कीमत चुकानी पड़ेगी।'' इस घटना से इलाके के लोगों में डर फैल गया है। उन्होंने सेना और पुलिस से उन राष्ट्र-विरोधी तत्वों के खिलाफ कार्रवाई करने को कहा था जिन्होंने उन्हें धमकी दी थी।
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