नई दिल्ली: राष्ट्रीय राजधानी दिल्ली में शीर्ष अदालत के ठीक सामने झाड़ू को ताले से लॉक करके लोहे की रेलिंग से बांधा गया है. ये तस्वीर अपने आप में कई सवाल खड़ा करती है कि आखिर इस उच्च सुरक्षा वाले इलाके में झाड़ू को ऐसे बांधकर रखने की नौबत क्यों आई? इस सवाल के जवाब के लिए जब वहां मौजूद सफाईकर्मियों से बात की गई तो जवाब मिला कि लोग उनकी झाड़ू चुरा ले जाते हैं, इसीलिए उन्हें ये कदम उठाने के लिए विवश होना पड़ा.
दरअसल, शीर्ष अदालत के हाई सिक्युरिटी इलाके में यदि झाड़ू की चोरी होने लगे तो ये आश्चर्य की बात ही मानी जाएगी. तस्वीर में आप देख सकते हैं कि रेलिंग पर लाइन से एक के बाद एक कई झाड़ुओं को किस तरह ताले से लॉक करके रखा गया है, जैसे ये कोई बेहद महंगी या अनोखी चीज हो. जसवंती नाम की एक महिला सफाईकर्मी ने इस संबंध में जानकारी देते हुए बताया है कि हमें झाड़ू को ताले से इसलिए बांधकर रखना पड़ता है, क्योंकि लोग झाड़ू चुरा ले जाते हैं.
उन्होंने आगे कहा कि, एक झाड़ू 100 रुपये की आती है. ताला भी लगभग इतने का ही आता है. लोगों को मुफ्त का माल चाहिए होता है, तो उठा ले जाते हैं झाड़ू. उनकी बनी बनाई झाड़ू चाहिए. वहीं एक अन्य महिला सफाईकर्मी रेनू ने कहा कि अभी तक ऐसा कोई चोर पकड़ा नहीं गया, जो झाड़ू चुराता हो. चोर रात में चोरी करते हैं. यदि दिन में वो ताला तोड़ेंगे तो हम लोग देख लेंगे और उसकी धुनाई करेंगे. रात में चोरों को मौका मिलता है क्योंकि हम यहां नहीं होते. बता दें कि सुप्रीम कोर्ट दिल्ली में स्थित है, जहाँ के सीएम अरविन्द केजरीवाल हैं, मजे की बात तो ये है कि उनकी पार्टी AAP का चुनाव चिन्ह भी झाड़ू ही है, ऐसे में कुछ लोग 'केजरीवाल की दिल्ली में झाड़ू की चोरी' कह कर चुटकी भी ले रहे हैं।
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