नई दिल्ली: बहुजन समाज पार्टी की अध्यक्ष मायावती ने हाल ही में एक ट्वीट किया है। इस ट्वीट में उन्होंने नए कृषि कानूनों के खिलाफ प्रदर्शन कर रहे किसानों का समर्थन किया है। आप देख सकते हैं अपने ट्वीट में मायावती ने बोला है कि 'केंद्र ने इस कानून को बिना किसानों की सहमति के बनाया है और उसे किसानों की मांग पर पुनर्विचार करना चाहिए।' पहले तो हम आपको यह बता दें कि किसान बीते 4 दिनों से दिल्ली-हरियाणा बॉर्डर पर प्रदर्शन कर रहे हैं। जी दरअसल किसानों के पास इस समय तीन कृषि कानूनों को वापस लेने की मांग है जिसे वह मनवाना चाहते हैं।
केन्द्र सरकार द्वारा कृषि से सम्बन्धित हाल में लागू किए गए तीन कानूनों को लेकर अपनी असहमति जताते हुए पूरे देश में किसान काफी आक्रोशित व आन्दोलित भी हैं। इसके मद्देनजर, किसानों की आम सहमति के बिना बनाए गए, इन कानूनों पर केन्द्र सरकार अगर पुनर्विचार कर ले तो बेहतर।
— Mayawati (@Mayawati) November 29, 2020
किसानों का कहना है कि इन कानूनों के बनने से केंद्र द्वारा चली आ रही न्यूनतम समर्थन मूल्य की प्रणाली खत्म हो सकती है और किसान बड़े कॉरपोरेट की शर्तों पर उन्हें अपना उपज बेचने को मजबूर होंगे। ऐसे में हाल ही में बीएसपी अध्यक्ष मायावती ने सभी किसानों का सपोर्ट किया है। उन्होंने ट्वीट कर कहा है कि, 'केन्द्र सरकार द्वारा कृषि से सम्बन्धित हाल में लागू किए गए तीन कानूनों को लेकर अपनी असहमति जताते हुए पूरे देश में किसान काफी आक्रोशित व आन्दोलित भी हैं। इसके मद्देनजर, किसानों की आम सहमति के बिना बनाए गए, इन कानूनों पर केन्द्र सरकार अगर पुनर्विचार कर ले तो बेहतर।'
आप जानते ही होंगे किसान अब तक भी सिंधु बॉर्डर छोड़ने को तैयार नहीं हैं। खुद केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह ने उनसे अपील की है और कहा है कि अगर किसान बुराड़ी मैदान चले जाएं तो उनसे 3 दिसबंर से पहले ही बातचीत हो जाएगी। अब इस समय किसान अपनी आगे की रणनीति को लेकर बैठक कर रहे हैं।
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