'4 साल बाद जब युवा बेरोजगार होकर लौटेंगे, तो क्या होगा?', 'अग्निपथ' पर CM बघेल ने सरकार से पूछा सवाल

'4 साल बाद जब युवा बेरोजगार होकर लौटेंगे, तो क्या होगा?', 'अग्निपथ' पर CM बघेल ने सरकार से पूछा सवाल
Share:

रायपुर: 'अग्निपथ' स्कीम पर छत्तीसगढ़ के सीएम भूपेश बघेल ने बड़ा बयान दिया। उन्होंने कहा कि 4 वर्ष पश्चात् जब 22-23 साल का लड़का वापस अपने घर लौटेगा तथा बेरोजगार होगा तो क्या होगा? क्या इतने लोगों को पुलिस में भर्ती करेंगे। जो भर्ती हो गया वो ठीक और जो नहीं हुआ वो, उनको तो बंदूक चलाना आ गया है। इस तरह आप उन्हें आधा अधूरा छोड़ देंगे तो वे गैंग बनाकर आपराधिक घटनाओं में भी सम्मिलित हो सकते हैं।

दरअसल, केंद्र सरकार ने दशकों पुरानी रक्षा भर्ती प्रक्रिया में बड़ा परिवर्तन करते हुए सेना के तीनों अंगों में सैनिकों की भर्ती संबंधी 'अग्निपथ' स्कीम की घोषणा की थी। इसके तहत सैनिकों की भर्ती 4 वर्ष की अवधि के लिए संविदा आधार पर की जाएगी। स्कीम के तहत चयन के लिए पहले पात्रता आयु साढ़े 17 वर्ष से 21 वर्ष के बीच तय की गई थी। तत्पश्चात, सरकार ने ऊपरी आयु सीमा को सिर्फ इस वर्ष के लिए 21 से बढ़ाकर 23 साल करने का नितनय किया था। भर्ती के बाद सेना में सम्मिलित युवाओं को 'अग्निवीर' नाम दिया जाएगा।

वही इस पर सीएम बघेल ने कहा कि सशस्त्र बलों में पूर्णकालिक भर्ती क्यों नहीं की जा रही है? क्या आप यह बताने का प्रयास कर रहे हैं कि हमारे देश की रक्षा करने वाली सेना में भर्ती के लिए आपके पास पैसे नहीं हैं। देश की सेवा करने की भावना के साथ युवा सशस्त्र बलों में सम्मिलित होते हैं। आप उनके भविष्य और देश की सीमाओं के साथ क्यों खिलवाड़ कर रहे हैं? एक ओर आप देश की संपत्ति बेच रहे हैं तथा दूसरी ओर आपके पास सेना में भर्ती के लिए पैसे नहीं हैं। आपको इस हालात पर एक श्वेत पत्र जारी करना चाहिए। उन्होंने बीजेपी शासित प्रदेशों की भी आलोचना की, जिन्होंने पुलिस भर्ती और संबंधित सेवाओं में 'अग्निवीर' को प्राथमिकता देने का ऐलान है। उन्होंने कहा कि सेना और पुलिस दो अलग-अलग पेशे हैं। पुलिस कानून एवं व्यवस्था बनाए रखने के लिए है जबकि सेना रक्षा के लिए है। एक फौजी केवल 2 चीजें जानता है - दोस्त और दुश्मन। दुश्मन सामने नजर आए तब उसे खत्म करना है। उसे दुश्मन से युद्ध करना है, उससे लड़ाई करना है। पुलिस को मुख्य तौर पर कानून और व्यवस्था बनाए रखने का काम सौंपा जाता है तथा इसे इससे नहीं जोड़ा जा सकता है। दोनों के प्रशिक्षण अलग-अलग हैं। फिर आप गुमराह करने का प्रयास क्यों कर रहे हैं।

ख़बरों में छाई उत्तराखंड की पहली महिला स्पीकर, सदन में दिखाया अपना 'प्रोफेसर अंदाज'

नवाब मलिक और अनिल देशमुख नहीं कर पाएंगे वोटिंग, भड़के संजय राउत ने दे डाला बड़ा ये बयान

'तुम्हारी हत्या होने वाली है', BJP सांसद को मिली जान से मारने की धमकी, वायरल हुआ ऑडियो

Share:

रिलेटेड टॉपिक्स
- Sponsored Advert -
मध्य प्रदेश जनसम्पर्क न्यूज़ फीड  

हिंदी न्यूज़ -  https://mpinfo.org/RSSFeed/RSSFeed_News.xml  

इंग्लिश न्यूज़ -  https://mpinfo.org/RSSFeed/RSSFeed_EngNews.xml

फोटो -  https://mpinfo.org/RSSFeed/RSSFeed_Photo.xml

- Sponsored Advert -