रायपुर: छत्तीसगढ़ कांग्रेस में आपसी कलह तेज हो गई है। सीएम भूपेश बघेल ने कद्दावर मंत्री टीएस सिंहदेव का इस्तीफा कबूल कर लिया है। बीते दिनों टीएस सिंहदेव ने पंचायत एवं ग्रामीण विकास विभाग से इस्तीफा दे दिया था। वहीं, मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने पंचायत एवं ग्रामीण विकास विभाग का प्रभार मंत्री रविंद्र चौबे को दे दिया है। अब टीएस सिंहदेव के पास सिर्फ स्वास्थ्य विभाग है।
बृहस्पतिवार को विधानसभा में बीजेपी ने भूपेश बघेल के नेतृत्व वाली कांग्रेस सरकार के खिलाफ अविश्वास प्रस्ताव पेश किया। मॉनसून सत्र के दूसरे दिन विपक्षी दल ने मंत्रिपरिषद पर अविश्वास व्यक्त करते हुए प्रस्ताव पेश किया। वहीं, स्पीकर चरण दास महंत ने प्रस्ताव नोटिस पढ़ा एवं 27 जुलाई को इस पर बातचीत का वक़्त तय किया है। बता दें कि 90 सदस्यीय विधानसभा में कांग्रेस के 71 सदस्य, बीजेपी के 14, JCC (J) के तीन और बहुजन समाज पार्टी के दो MLA हैं।
वहीं, नेता प्रतिपक्ष धरम लाल कौशिक ने बुधवार को बोला था कि बीजेपी ने कांग्रेस सरकार पर कानून-व्यवस्था एवं किसानों के कल्याण समेत सभी मोर्चों पर विफल होने का इल्जाम लगाते हुए उसके खिलाफ अविश्वास प्रस्ताव का नोटिस दिया था। प्रदेश में एक संवैधानिक संकट है क्योंकि एक मंत्री (टीएस सिंह देव जिन्होंने अपना एक विभाग छोड़ दिया है) ने अपनी ही सरकार पर विश्वास नहीं व्यक्त किया है। कहा जा रहा है कि सूबे में एक ओर तो ढाई-ढाई वर्ष सीएम पद का फॉर्मूला लागू नहीं हुआ तथा इसके उलट टीएस सिंहदेव को निरंतर हाशिए पर डालने के प्रयास भी किए जाते रहे। टीएस सिंहदेव के खिलाफ उनके ही क्षेत्र में बघेल समर्थक विधायकों ने मोर्चा खोल रखा था। ऐसे में सिंहदेव ने पंचायत एवं ग्रामीण मंत्रालय से इस्तीफा दे दिया।
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