बीजिंग: आज के समय में बीमारी हो या कोई आपदा दोनों ही मानव जीवन पर संकट बन ही जाती है. जिसमे से एक है कोरोना वायरस यह एक ऐसी बीमारी है, जिसका अभी तक कोई तोड़ नहीं मिल पाया है. वहीं इस वायरस की चपेट में आने से 30000 से अधिक मौते हो चुकी है, जबकि लाखों लोग इस वायरस से संक्रमित हुए है. ऐसे में वैज्ञानिकों के लिए यह कहना जरा मुश्किल सा है कि इस बीमारी से कब तक निजात मिल पाएगा. चीन के बाद इटली ही वो शहर है जहां मरने वालों की संख्या बाकी किसी भी देश से सर्वाधिक है. यहां चर्च में कोफिन में रखे शवों की लाइन लगी हुई है. पादरी शवों के साथ परंपरा का निर्वहन कर रहे हैं. सेना को इन शवों को दफनाने के काम में लगा दिया गया है. वो अपनी ट्रकों से इन कोफिनों को रखकर ले जा रहे हैं और शव को दफना रहे हैं. चूंकि इन सभी की मृत्यु कोरोना वायरस की वजह से हुई है इस वजह से इनके शव को उनके परिवारों को भी नहीं सौंपा जा रहा है.
- चर्चों में पादरी कर रहे प्रेयर: डॉक्टरों का कहना है कि चूंकि कोरोना वायरस संक्रमित होने वाली बीमारी है इस वजह से जिनकी मौत हो चुकी है उनके परिवार को संक्रमण की वजह से शव नहीं सौंपे जा रहे हैं. यदि शवों को अधिक दिन तक रखा गया तो उससे बदबू आने लगती है इस वजह से उसे बहुत अधिक दिन तक रखा भी नहीं जा पा रहा है. इन दिनों इटली की सड़कों और चर्चों से जो तस्वीरें आ रही हैं उसकी कभी उम्मीद ही नहीं की गई थी.
- चर्चों में इस तरह एक साथ कोफिन रखकर की जा रही प्रेयर: तस्वीरें देखकर लोगों को आंखें भर आ रही हैं. जिन चर्चों में लोग प्रार्थना करने के लिए एकत्रित होते थे इन दिनों वहां शवों की लाइन लगी हुई है. कोफिन रखे हुए हैं, सेना के ट्रक आ रहे हैं और यहां से इन कोफिन को अपने ट्रकों में लोडर की मदद से लोड करके ले जा रहे हैं उसके बाद उनको दफनाया जा रहा है.
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