नई दिल्ली: कांग्रेस ने गणतंत्र दिवस समारोह को इस साल रद्द करने के सुझाव संबंधी शशि थरूर के बयान से बुधवार को किनारा करते हुए कहा कि जब लोकतांत्रिक संस्थाओं पर हमले किए जा रहे हैं, तो ऐसे वक़्त में लोकतंत्र का उत्सव बढ़-चढ़कर मनाने की आवश्यकता है। दरअसल, पार्टी के वरिष्ठ नेता शशि थरूर ने ब्रिटिश पीएम बोरिस जॉनसन का भारत दौरा कैंसिल होने का हवाला देते हुए कहा था कि मुख्य अतिथि नहीं होने की स्थिति में इस साल का गणतंत्र दिवस समारोह को क्यों न रद्द कर दिया जाए?
थरूर ने मंगलवार रात ट्वीट करते हुए लिखा कि, ''अब जब इस महीने बोरिस जॉनसन की भारत यात्रा कोविड की दूसरी लहर के कारण रद्द कर दी गई है और हमारे पास गणतंत्र दिवस पर मुख्य अतिथि नहीं है, तो ऐसे में एक कदम आगे क्यों न जाएं और जश्न को पूरी तरह से रद्द कर दें?'' थरूर ने यह भी कहा कि इस बार लोगों को परेड के लिए बुलाना 'गैरजिम्मेदाराना' होगा। थरूर के बयान के बारे में पूछे जाने पर कांग्रेस नेता अलका लांबा ने पार्टी की आधिकारिक प्रेस वार्ता में कहा कि, ''जहां तक पार्टी का सवाल है तो उसका यह भरोसा और मानना है कि चाहे स्वतंत्रता दिवस हो या गणतंत्र दिवस हो, दोनों हमारे लोकतांत्रिक और संवैधानिक पर्व हैं।''
अलका ने आगे कहा कि, ''संविधान और संवैधानिक संस्थाओं पर जिस तरह से लगातार हमले करके उन्हें कमजोर करने का प्रयास किया जा रहा है, ऐसे वक़्त में कांग्रेस महसूस करती है कि इस तरह के उत्सवों को और बढ़-चढ़कर मनाते हुए, इन पर भरोसा जताते हुए हमें ये सुनिश्चित करना है और शपथ लेनी है कि हम कतई भी अपने संविधान और संवैधानिक संस्थाओं को कमजोर नहीं होने देंगे।''
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