नई दिल्ली: कांग्रेस के दिग्गज नेता और पूर्व केंद्रीय मंत्री पी. चिदंबरम ने राज्यसभा में सरकार से सवाल किया है कि क्या पीएम नरेंद्र मोदी और चीन के राष्ट्रपति शी जिनपिंग ने बाली में जी-20 शिखर सम्मेलन में मुलाकात के दौरान सीमा स्थिति पर बातचीत की थी? कांग्रेस सांसद ने वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण द्वारा पेश विनियोग (संख्या 5), विधेयक, 2022 और विनियोग (संख्या 4) विधेयक 2022 पर चर्चा आरंभ करने के बाद यह टिप्पणी की।
अनुदान की पूरक मांग में सीमावर्ती सड़कों के लिए मांगे गए अतिरिक्त 500 करोड़ रुपये का हवाला देते हुए चिदंबरम ने स्पष्ट करते हुए कहा कि उन्हें सरहदों पर शर्तों को उठाने का अधिकार है, क्योंकि उन्हें कोई संवेदनशील जानकारी नहीं चाहिए। पी. चिदंबरम ने सरकार से पूछा कि, 'ये पूर्वोत्तर में रणनीतिक और सीमावर्ती सड़कें हैं। हम जानते हैं कि उत्तरी और पूर्वी सरहद पर कौन खतरा है। क्या चीन ने हॉट स्प्रिंग्स पर कुछ मंजूर किया है? क्या डोकलाम जंक्शन और डेपसांग मैदानों में घर्षण बिंदुओं पर बातचीत करने के लिए चीन तैयार हैं? आप ज्यादा बफर जोन बना रहे हैं। बफर जोन का मतलब क्या होता है? हमारी जानकारी के अनुसार, यह नो पेट्रोलिंग एरिया होगा। क्या इसका मतलब यह है कि हम अब उस स्थान पर गश्त नहीं कर रहे हैं जहां पहले करते थे।
पी. चिदंबरम ने दूसरी ओर चीनियों द्वारा बनाए जा रहे बुनियादी ढांचे के संबंध में सरकार से सवाल करते हुए कहा कि वह भारत की तरफ से मेल खाते बुनियादी ढांचे के संबंध में नहीं जानना चाहते, क्योंकि यह एक रक्षा रहस्य हो सकता है। बता दें कि विदेश मंत्री एस जयशंकर ने सोमवार को चीन-भारत के जवानों के बीच हुई झड़प पर बयान दिया था।
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