पूजा-पाठ में तुलसी सहित कई प्रकार के फूल और पत्तियां देवी-देवताओं की अर्पित की जाती हैं. इनके संबंध में शास्त्रों में कुछ खास नियम बताए गए हैं, इन नियमों का पालन करने पर पूजा बहुत जल्दी सफल हो जाती है और मनोकामनाएं जल्दी पूरी होती हैं.
आइये जानते है पूजा-पाठ में उपयोग की जाने वाली चीजों से जुड़ी जरूरी बातें-
1-माँ लक्ष्मी की पूजा खास रूप से कमल के फूलो से करनी चाहिए.इस फूल को पांच दिनों तक जल छिडक कर दुबारा चढ़ाया जा सकता है.
2-बेलपत्र छह महीने तक बासी नहीं होते,इन्हें जल छिडक कर फिर से चढ़ा सकते है.
3-ताँबे के बर्तन में घिसा हुआ चन्दन या चन्दन या चन्दन का पानी नहीं रखना चाहिए.
4-कभी भी एक दिए से दूसरा दिया ना जलाये.ऐसा करने से रोग होने की आशंका रहती है.
5-शिव की पूजा रोज करनी चाहिए.
6-बुद्धवार और रविवार को पीपल में जल ना डाले.ऐसा करने से दरिद्रता आती है.
7-शिव,गणेश और भैरवजी को तुलसी नहीं चढ़ानी चाहिए.
7-माँ दुर्गा की पूजा दूर्वा से ना करे.ये गणेशजी को चढ़ाई जातीहै.दूर्वा की इक्कीस गांठो से गणेश जी की पूजा करने से गणेशजी प्रसन्न होते है.
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