झारखंड: एक वक़्त ऐसा था कि जब विद्यार्थियों से पूछा जाता था कि उसे बड़े होकर क्या बनना है तो वह सबसे पहले इंजीनियर बनने को कहता था, अच्छे कॉलेज में एड्मिशन लेने के लिए विद्यार्थियों को मोटी ताजी फीस भी देनी पड़ती थी लेकिन आज के समय में विद्यार्थी इंजीनियरिंग करने से दूर भागते है. वही झारखण्ड के 15 बड़े इंजीनियर कॉलेज में तीन हज़ार सीट खाली रह गई है.
बता दे आपको झारखंड कंबाइंड इंजीनियरिंग परीक्षा से राज्य की तकनीकी संस्थानों में नामांकन लिया जाता है. वही खाली सीटों का अकड़ा दूसरे राउंड की कांउसिलिंग के बाद ही आया है.
झारखण्ड में सबसे ज़्यादा खाली सीटे सामान्य वर्ग में देखने को मिली, यहां सामान्य वर्गो की 1679 सीट खाली रही, तो एसटी की 1053 सीट खाली रही, एससी में 396, बीसी वन में 301, बीसी टू में 202, पीएच में 0, एसएमक्यू में एक व टीएफडब्ल्यू में 38 सीटें खाली रह गई. इसके अंदर कंप्यूटर साइंस, सिविल, ECE, EEE, केमिकल, EE, आइटी, माइनिंग और प्रोडक्शन जैसे सभी कोर्स शामिल हैं. बीआइटी सिंदरी में एसएमक्यू कोटा के तहत केमिकल इंजीनियरिंग में एक सीट बची है.
दिल्ली में 8वी पास वालों के लिए निकली बंपर भर्ती, जल्द करे आवेदन