नई दिल्ली : सर्च इंजन गूगल पर यूरोपियन यूनिनय रेग्यूलेटर्स ने 5 बिलियन डॉलर का बड़ा जुर्माना ठोंका है. भारतीय मुद्रा में इसकी बात की जाए तो यह रकम कुल 34 खरब रुपये से भी अधिक होती है. जुर्माना ठोकने वाली यूरोपियन यूनिनय रेग्यूलेटर्स ने गूगल पर आरोप लगाते हुए कहा है कि एंड्रॉयड ऑपरेटिंग सिस्टम की मार्केट में पहुंचने के लिए गूगल द्वारा गलत कदम उठाए गए है.
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यूरोपियन यूनिनय रेग्यूलेटर्स के मुताबिक, गूगल ने कथित तौर पर स्मार्टफोन बनाने वाली कंपनियों को एंड्रॉयड फोर्क्ड वर्जन पर चलने वाले डिवाइस बनाने नहीं दिया है. बता दे कि गूगल ने एंड्रायड मोबाइल ऑपरेटिंग सिस्टम और ऐप्स पर पूरी तरह से एकाधिकार जमा रखा है. जिससे कि उसे अब भारी जुर्माने से गुजरना होगा.
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इसलिए लगा जुर्माना...
गूगल जो कि एक सर्च इंजन है. उस पर गूगल के ऐप्स पहले से ही इंस्टॉल्ड होते हैं. और अगर यूजर्स इस पर आते हैं, तो उन्हें मजबूरन गूगल के ही ऐप यूज करना पड़ता है. इस तरह गूगल अपना टार्गेट विज्ञापन भी सेट करता है. बता दे कि इससे पहले भी गूगल पर 2.4 अरब डॉलर का जुर्माना लग चुका है.