फिल्म निर्माता और निर्देशक बीआर चोपड़ा का मुंबई स्थित पारिवारिक घर अब बिक चुका है। जी दरअसल उनका बंगला मुंबई के पॉश इलाके जुहू में स्थित रहा और अब उनके इस बंगले को 183 करोड़ रुपये में बेचा गया है। आप सभी जानते ही होंगे कि बीआर चोपड़ा का साल 2008 में मुंबई के ब्रीच कैंडी अस्पताल में निधन हो गया था। वहीं इकोनॉमिक टाइम्स की एक रिपोर्ट को देखा जाए तो बीआर चोपड़ा का यह बंगला 25,000 वर्ग फुट के क्षेत्र में फैला हुआ है। जी हाँ और यह उनका पारिवारिक घर भी माना जाता था। आपको बता दें कि उनके इस घर को के। रहेजा कॉर्प ने ₹182।76 करोड़ में खरीदा है और कंपनी ने पंजीकरण के लिए ₹11 करोड़ की स्टांप ड्यूटी का भुगतान किया है।
बताया जा रहा है के रहेजा कॉर्प ने फिल्म निर्माता का यह बंगला रेणु चोपड़ा से खरीदा है जो बीआर चोपड़ा की बहू और दिवंगत फिल्म निर्माता रवि चोपड़ा की पत्नी हैं। सामने आने वाली एक रिपोर्ट के मुताबिक संपत्ति डेवलपर्स कथित तौर पर वहां एक प्रीमियम आवासीय परियोजना बनाने की योजना बना रहे हैं। आपको यह भी जानकारी दे दें कि घर सी प्रिंसेस होटल के सामने है, जहां से बीआर चोपड़ा अपना कारोबार करते थे। जी हाँ और अविभाजित पंजाब में 22 अप्रैल 1914 को जन्मे बलदेव राज चोपड़ा (बीआर चोपड़ा) की फिल्मों में रुचि एक फिल्म पत्रकार के रूप में शुरू हुई।
वहीं उसके बाद हुए विभाजन के बाद वह दिल्ली और फिर मुंबई की तरफ प्रस्थान कर गए। यहाँ उन्होंने सिने हेराल्ड जर्नल के लिए फिल्म समीक्षाएँ लिखकर अपने करियर की शुरुआत की। वहीं साल 1949 में, उन्होंने अपनी पहली फिल्म कारवाट का निर्माण किया, जो दुर्भाग्य से फ्लॉप हो गई। उसके बाद साल 1951 में, उन्होंने फिल्म अफसाना के निर्माता और निर्देशक के रूप में फिर से अपनी किस्मत आजमाई, जो बॉक्स ऑफिस पर एक मेगा हिट बन गई।
वहीं साल 1955 में उन्होंने अपना प्रोडक्शन हाउस बीआर फिल्म्स बनाया और इस प्रोडक्शन हाउस के लिए उनकी पहली फिल्म नया दौर बेहद सफल रही। आपको जानकारी हो कि उनकी कुछ फिल्में धूल का फूल (1959), वक्त (1965) और नया दौर (1957), कानून (1958), हमराज (1967), इंसाफ का तराजू (1980) और निकाह (1982) काफी पसंद की गई।
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