नईदिल्ली: सुप्रीम कोर्ट ने कुछ शर्तों के साथ पटाखे चलाने की अनुमति देने के साथ ही इन पर बैन संबंधी मांग को खारिज कर दिया है, कोर्ट का कहना है कि देश में पटाखों पर पूरी तरह से बैन नहीं लगाया जा सकता है। इसके अलावा कोर्ट ने कहा कि सुरक्षित और ग्रीन पटाखों का निर्माण और बिक्री पहले की तरह जारी रहेगी।
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दीवाली पर पटाखों के चलते होने वाले प्रदूषण को देखते हुए कोर्ट ने रात 8 से 10 बजे तक ही पटाखे चलाने की अनुमति दी है और कोर्ट ने प्रदूषण के संकट के मद्देनजर बड़ा फैसला दिया है। इसके अलावा अपने इस फैसले में सुप्रीम कोर्ट ने संतुलन बनाने की कोशिश की है, कोर्ट ने कहा है कि देश में पटाखों पर पूरी तरह बैन नहीं लगाया जा सकता है।
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गौरतलब है कि सुप्रीम कोर्ट में पटाखों पर बैन लगाने को लेकर याचिका दायर की गई थी जिस पर जस्टिस एके सीकरी और जस्टिस अशोक भूषण की पीठ ने फैसला सुनाया है। वहीं सुप्रीम कोर्ट ने दीवाली पर पटाखों की बिक्री की अनुमति तो दे दी है लेकिन इसके पीछे कुछ शर्तें हैं जिन्हें सभी के लिए लागू किया गया है आइए जानते हैं सुप्रीम कोर्ट की शर्तों के बारे में-
1. कोर्ट के अनुसार व्यापारी केवल कम प्रदूषण करने वाले पटाखे ही बेच सकेंगे।
2. ये पटाखे एक तय समय में और तय किए गए एरिया में ही बेचे जाएंगे।
3. ये पटाखे दीवाली के दिन केवल रात 08 बजे से 10 बजे के बीच छोड़े जा सकेंगे।
4. क्रिसमस और नए साल के मौके पर फायरक्रैकर्स रात 11.55 से रात 12.30 तक ही छोड़े जा सकेंगे।
5. इस दौरान वही पटाखे बेचने और छोडने की अनुमति होगी, जो कम धुआं और प्रदूषण फैलाएंगे, इन पटाखों को केवल लाइसेंसी दुकानों से खरीदा जा सकेगा।
6. सुरक्षित और ग्रीन पटाखों का निर्माण और बिक्री पहले की तरह जारी रहेगी।
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