नई दिल्ली। भारत के प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी द्वारा नोट बंदी की घोषणा किये जाने के बाद से ही इस मुद्दे पर बहुत राजनीती हुई थी। कांग्रेस समेत तमाम विपक्षी पार्टियों ने इस मुद्दे पर बीजेपी को घेरने की कोशिश की थी। और अब नोटेबंदी के दो साल बाद इस मामले में रिजर्व बैंक की ओर से आधिकारिक आंकड़ा जारी किए जाने के बाद से इस मुद्दे पर फिर बहसबाजी शुरू हो गई है।
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अब इस मामले में कांग्रेस के वरिष्ठ नेता और पूर्व वित्त मंत्री पी चिदंबरम ने सरकार पर फिर निशाना साधा है। चिदंबरम ने आज अपने एक बयान में कहा है कि नोटबंदी की वजह देश को 2.25 लाख करोड़ रुपये का घाटा हुआ है। दरअसल चिदंबरम ने आज एक ट्वीट कर लिखा है कि नोटबंदी के दौरान में 100 से अधिक लोगों की मौत हुई थी और 15 करोड़ से अधिक लोगों ने कई हफ्तों तक अपनी जीविका खो दी थी। चिदंबरम ने यह भी लिखा कि इससे सूक्ष्म, लघु एवं मझोले उद्योग क्षेत्र में हजारों इकाइयां बंद हो गईं जिससे लाखों लोगों की नौकरियां चली गईं। इस तरह भारत को नोटेबंदी से एक साल में कुल 2.25 लाख करोड़ रुपये का घाटा हुआ था।
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गौरतलब है कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने 8 नवंबर 2016 को 500 और 1000 रुपये के नोटों को चलन से बाहर करने की घोषणा की थी। इसके बाद कई दिनों तक लोगों को बैंको में से पैसा निकालने या जमा करवाने में काफी परेशानियों का सामना करना पड़ा था और इस मामले में काफी राजनीती भी हुई थी।
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