प्रधानमंत्री एक्सीलेंस कॉलेज से लेकर लाउडस्पीकर बैन तक..., CM बनते ही मोहन यादव ने लिए ये बड़े फैसले

प्रधानमंत्री एक्सीलेंस कॉलेज से लेकर लाउडस्पीकर बैन तक..., CM बनते ही मोहन यादव ने लिए ये बड़े फैसले
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भोपाल: मध्य प्रदेश में सीएम का पदभार संभालते ही मुख्यमंत्री मोहन यादव सुपर एक्टिव हो गए हो गए हैं। मुख्यमंत्री डॉ। मोहन यादव ने आज बुधवार को ही मंत्रालय स्थित मुख्यमंत्री कक्ष में विधिवत पूजा अर्चना कर कार्यभार संभाला है। कार्यभार संभालते ही उन्होंने पहला आदेश दे दिया है। इस आदेश के तहत प्रदेश में लाउडस्पीकर की आवाज को नियंत्रित करने के लिए कहा गया है, साथ ही यदि वे तय डेसिबल से ज्यादा आवाज आएंगे तो इसे प्रतिबंध किए गए हैं। इसके साथ ही, उन्होंने कई अन्य आदेश भी दिए हैं। इनमें खुले में मांस बेचने को लेकर गाइडलाइन्स का सख्ती से पालन, हर जिले में एक्सीलेंस कॉलेज खोले जाने के फैसले के साथ दोषियों पर शिकंजा कसे जाने के भी आदेश दिए हैं। 

आपको बता दें कि मुख्यमंत्री मोहन यादव ने बुधवार को मध्य प्रदेश में कार्यभार संभाल लिया है। मुख्यमंत्री पद की शपथ लेने के बाद मुख्यमंत्री डॉ मोहन यादव ने मंत्रिमंडल की पहली बैठक की। जिसमें कई अहम फैसले लिए गए। इसमें फैसला लिया गया है कि प्रत्येक जिले में प्रधानमंत्री एक्सीलेंस कॉलेज खोले जाएंगे। नियमों के खिलाफ खुले में चल रहे मांस या अंडे की दुकानों पर सख्ती की जाएगी।

मंत्रिमंडल बैठक में ये निर्णय लिए गए
खुले में मांस बेचने के लिए सर्वोच्च न्यायालय की गाइडलाइन्स का कड़ाई से पालन करवाने का प्रस्ताव मंत्रिमंडल में लाया गया है। प्रत्येक जिले में एक एक्सीलेंस कॉलेज खोला जायेगा। कुल 52 कॉलेज खोले जाएंगे। आदतन अपराधियों के लिए गृह मंत्रालय को कहा है कि आवश्यकता पड़ने पर उनकी जमानत निरस्त करना शुरू करें। 22 जनवरी को राम मंदिर के गर्भगृह में रामलला विराजेंगे। 22 जनवरी को अयोध्या की तरफ जाने वाले मार्ग पर सरकार की ओर से जगह-जगह रामभक्तों का स्वागत किया जायेगा।

बुधवार को कार्यभार संभालते ही उन्होंने पहला आदेश दे दिया है। इस आदेश के तहत प्रदेश में लाउडस्पीकर बैन किए गए हैं। शासन की तरफ से जारी आदेश की प्रति भी सामने आई है। इसमें लिखा है कि, 'सामने आया है कि विभिन्न धर्म स्थलों में निर्धारित डेसिबल का उल्लंघन करते हुए लाउडस्पीकर का इस्तेमाल किया जा रहा है। शोर से मनुष्य के काम करने की क्षमता, आराम तथा नींद में व्यवधान पड़ता है। शोर वाले वातावरण से उच्च रक्तचाप, बेचैनी, मानसिक तनाव, अनिद्रा जैसे प्रभाव शरीर में पाए जाते हैं। इससे कान के आंतरिक हिस्से में भी समस्या हो जाती है।  

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