मुंबई: देश के सबसे बड़े उद्योगपति मुकेश अंबानी ने 2016 में रिलायंस जियो की शुरुआत की थी। उसके बाद से अब तक देश के टेलीकॉम सेक्टर पूरा नक्शा ही बदल गया है। देश में अब कुछ ही टेलीकॉम कंपनियां रह गई है। वहीं JIO देश के टेलीकॉम के क्षेत्र में जबरदस्त गेमचेंजर साबित हुआ है। अब मुकेश अंबानी ने ग्रीन एनर्जी की दिशा में भी कदम बढ़ा दिया है।
एशिया के सबसे रईस व्यक्ति, मुकेश अंबानी की भारत में जीरो-कार्बन हार्डवेयर को बढ़ाने के लिए 10 बिलियन डॉलर का प्लान है। रिलायंस इंडस्ट्रीज फोटोवोल्टिक मॉड्यूल, बैटरी, फ्यूल सेल और अहम रूप से हाइड्रोजन का प्रोडक्शन करने के लिए इलेक्ट्रोलाइज़र बनाने के लिए चार बड़े “गीगा फैक्ट्री” को विकसित करने की योजना पर कार्य कर रहा है। रिलायंस की यह बड़ी योजनाओं में से एक है, किन्तु सभी डिटेल्स सामने नहीं आ सकी है। मगर रिलायंस की तरफ से जो लक्ष्य निर्धारित किया गया है, उसके लिए मौजूदा टेक्नोलॉजी के हिसाब से बड़ी कोशिश की आवश्यकता है।
9 वर्षों में 100 गीगावाट सौर पैनल बनाने में सक्षम एक फैक्ट्री निश्चित रूप से असरदार है, किन्तु यह आज की संभावनाओं के दायरे से बाहर नहीं है। कई कंपनियां पहले से ही एक साल में 10 गीगावाट से ज्यादा मॉड्यूल का निर्माण कर रही हैं। बैटरियों के लिए भी पैमाना मौजूद है, और विनिर्माण विस्तार के तहत जो पहले से ही चल रहा है, वो आज की उत्पादन क्षमता से दोगुना से ज्यादा होगा।
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