पश्चिम बंगाल में द्वितीय चरण के मतदान से पहले गोत्र की राजनीति और भी तेज हो गई है। और गोत्र की चर्चा बंगाल की सीएम ममता बनर्जी ने शुरू की। उन्होंने चुनावी जनसभा में एक उदाहरण देते हुए अपना गोत्र बताया, तो वहीं इस केस में केंद्रीय मंत्री गिरिराज सिंह ने पलटवार करते हुए बोला है कि ममता बनर्जी चुनाव में हार से डर चुकी हैं।
गिरिराज सिंह ने बोला कि 'मुझे तो कभी गोत्र बताने की आवश्यकता नहीं पड़ी, मैं तो लिखता हूं। लेकिन ममता बनर्जी चुनाव हारने के डर से गोत्र बताती हैं। साथ ही ममता बनर्जी से पूछा कि कहीं रोहिंग्या और घुसपैठियों का गोत्र भी शांडिल्य तो नहीं है। गिरिराज सिंह ने कहा कि उनका हारना तय है।'
जंहा इस बात का पता चला है कि TMC की नेता ममता बनर्जी ने मंगलवार को नंदीग्राम के टेंगुआ में अंतिम जनसभा में भाषण के बीच बोला कि उनका गोत्र शांडिल्य है, लेकिन जब उनसे पूछा जाता है तो वह बोलती हैं कि मेरा गोत्र मां माटी मानुष है। जनसभा के बीच ममता बनर्जी ने यह भी कहा कि एक बार त्रिपुरा के त्रिपुरेश्वरी मंदिर में पूजा के बीच किसी पंडित ने पूछा था कि आपका गोत्र क्या है, तो मैंने कहा कि वैसे तो मेरा गोत्र शांडिल्य है, लेकिन मैं मां माटी मानुष अपना गोत्र बताती हूं। ये बयान ममता बनर्जी ने नंदीग्राम में चुनाव प्रचार के अंतिम दिन दिया, जिसके उपरांत इस पर सियासी प्रतिक्रियाएं आने लगीं। ममता को घेरने वाले भाजपा सांसद और केंद्रीय मंत्री गिरिराज सिंह भी अपने नाम के आगे शांडिल्य लिखते हैं, लिहाजा जब ममता का बयान आया तो उन्होंने ये पलटवार किया।
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