उद्योग जगत को वाणिज्य एवं उद्योग मंत्रालय ने चीन से आयात होने वाले सभी सामान की सूची सौंपने के लिए कहा है. इनमें औद्योगिक संगठनों से लेकर एक्सपोर्ट प्रमोशन काउंसिल शामिल हैं. डिपार्टमेंट फॉर प्रमोशन ऑफ इंडस्ट्री एंड इंटर्नल ट्रेड (डीपीआईआईटी) ने उद्योग जगत को आयातित चीनी सामान की सूची सौंपने के लिए एक सप्ताह का समय दिया है. सूत्रों के मुताबिक इस सूची से यह साफ हो जाएगा कि चीन से आने वाले कौन-कौन से आइटम जरूरी है और कौन-कौन गैर जरूरी. गैर-जरूरी आइटम पर तत्काल रूप से रोक लगाने की कवायद की जाएगी. इसके लिए आयात शुल्क में बढ़ोतरी या उन आइटम को आयात के प्रतिबंधित सूची में रखा जा सकता है.
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आपकी जानकारी के लिए बता दे कि गैर-जरूरी चीजों में वे सभी आइटम शामिल हो सकते हैं, जिनसे हमारे देश का जरूरी उत्पादन और निर्यात प्रभावित नहीं होता हो. चीन से आने वाली गैर-जरूरी चीजों पर रोक लगाने की व्यवस्था के बाद सरकार चीन से आने वाली जरूरी चीजों पर ध्यान देगी. पहले यह टटोला जाएगा कि क्या चीन से आने वाले आइटम के वैकल्पिक उत्पाद हमारे देश में उपलब्ध है. अगर उपलब्ध है तो चीनी वस्तुओं को छोड़ देश की उन वस्तुओं के इस्तेमाल के लिए कहा जाएगा.
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सूत्रों के मुताबिक अन्य देशों से भी जरूरी आइटम के आयात की संभावना पर भी विचार किया जा सकता है. साथ ही, सरकार चीन से आने वाली सभी जरूरी चीजों के देश में उत्पादन के लिए मैन्यूफैक्चरिंग सुविधा भी विकसित करने की दिशा में काम करेगी. उद्योग जगत सरकार को यह भी बताएगा कि कौन-कौन से चीनी आइटम कौन-कौन से उद्योग के लिए बिल्कुल अनिवार्य है और उनके आयात के बिना काम नहीं चल सकता है.
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