नई दिल्ली: इकॉनमी में गति लाने के लिए सरकार राजस्व (GST revenue) में वृद्धि के लिए जीएसटी की दरों में परिवर्तन पर विचार कर रही है. इसके लिए सरकार ने जीएसटी की दरों पर समीक्षा के लिए कमेटी ऑफ ऑफिसर्स गठित की थी. अब इस समिति ने अपनी कुछ सिफारिशें केंद्र सरकार के समक्ष पेश की हैं. केंद्र सरकार इन सिफारिशों पर विचार करके इन्हें जीएसटी परिषद के समक्ष रखेगी. इसके बाद जीएसटी काउंसिल (GST Council) निर्णय लेगी कि इन सिफारिशों को लागू किया जाए या नहीं.
यह भी बताया गया है कि कमेटी ऑफ ऑफिसर्स की सिफारिशों को अप्रैल 2020 से लागू किया जा सकता है. सरकार ने इस समिति का गठन अक्टूबर में किया था. जो वस्तुएं 5 और 12 फीसदी टैक्स के घेरे में हैं उन्हें और ऊंचे स्लैब में लाया जा सकता है. इसके अलावा मूल्यवान धातुओं जैसे- सोना, चांदी पर जीएसटी की दर को 3 प्रतिशत से बढ़ाकर 5 प्रतिशत किया जाए.
इसके साथ ही कमेटी ऑफ ऑफिसर्स ने सिफारिश की है कि शिक्षा और स्वास्थ्य को भी ऊंचे टैक्स स्लैब में शामिल किया जाना चाहिए. स्पेशल लग्जरी आइटम्स पर विशेष ऊंची दरें होनी चाहिए. यदि जीएसटी काउंसिल कमेटी ऑफ ऑफिसर्स की सिफारिशों को मान लेती है तो आने वाले नए वित्त वर्ष में सोना, चांदी तो महंगा हो जाएगा, साथ ही शिक्षा और स्वास्थ्य सुविधाएं भी महंगी हो जाएंगी.
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