मुंबई: महाराष्ट्र विधानसभा चुनाव के दौरान नेताओं की बयानबाजी जोरों पर है। इसी क्रम में मुंबई में आयोजित ‘संविधान बचाओ सम्मेलन’ में कांग्रेस के राष्ट्रीय अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खड़गे ने उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ पर अप्रत्यक्ष रूप से निशाना साधा।
अपने बयान में खड़गे ने कहा कि कई नेता साधु का भेष धारण कर राजनीति में आ गए हैं। कुछ तो मुख्यमंत्री पद तक भी पहुंच चुके हैं। उन्होंने बिना नाम लिए कहा कि ऐसे नेता ‘गेरुआ’ वस्त्र पहनते हैं और उनके सिर पर बाल नहीं होते हैं। खड़गे ने भाजपा को सलाह दी कि अगर उनके नेता वास्तव में संन्यासी हैं और गेरुआ वस्त्र धारण करते हैं, तो उन्हें राजनीति से बाहर रहना चाहिए, क्योंकि ये रंग त्याग और संयम का प्रतीक है। खड़गे ने कहा कि भाजपा के नेताओं को या तो सफेद कपड़े पहनने चाहिए, जो राजनीति के लिए अधिक उपयुक्त हैं, या फिर वे राजनीति छोड़ दें।
इसके साथ ही खड़गे ने भाजपा पर समाज में नफरत फैलाने का भी आरोप लगाया। उन्होंने कहा कि एक तरफ तो भाजपा नेता संन्यासी की वेशभूषा पहनते हैं, दूसरी तरफ वे लोगों को बांटने का काम कर रहे हैं। 'बंटोगे तो कटोगे' के नारे पर खड़गे ने कहा कि इस तरह का आचरण संविधान के सिद्धांतों के खिलाफ है और यह देश की एकता और शांति के लिए खतरनाक है।
इस तरह मल्लिकार्जुन खड़गे ने भाजपा पर धार्मिक प्रतीकों का उपयोग कर राजनीतिक लाभ उठाने का आरोप लगाते हुए कहा कि सच्चे संन्यासी वही हैं, जो समाज को जोड़ने और शांति बनाए रखने का काम करें।
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