नई दिल्ली: दिल्ली विधानसभा चुनाव के लिए असदुद्दीन ओवैसी की पार्टी AIMIM ने मुस्तफाबाद से विवादित चेहरा ताहिर हुसैन को अपना उम्मीदवार घोषित किया है। ताहिर हुसैन वही व्यक्ति हैं, जिन्होंने 2020 के दिल्ली दंगों के दौरान हिंसा भड़काने और बहुसंख्यक समुदाय को निशाना बनाने की साजिश रचने का कोर्ट में खुद कबूल किया था। उस समय ताहिर हुसैन आम आदमी पार्टी (AAP) के पार्षद थे, लेकिन दंगों में शामिल होने के आरोपों के बाद उन्हें पार्टी से निष्कासित कर दिया गया था।
जिस ताहिर हुसैन ने दिल्ली में सैकड़ो हिंदुओं की हत्या की साज़िश रची थी
— Kapil Mishra (@KapilMishra_IND) December 10, 2024
जिसके घर से हिंदुओं को मारने के लिए बम , पत्थर , गुलेल रखे थे
जिसने IB ऑफिसर अंकित शर्मा की हत्या 400 बार चाकुओं से गोद कर शव नाले में फेंक दिया था
ऐसे जिहादी को चुनाव मैदान में उतारकर दिल्ली के हिंदुओं… pic.twitter.com/MzRfQwsYOW
असदुद्दीन ओवैसी ने मंगलवार को एक तस्वीर पोस्ट करते हुए घोषणा की कि ताहिर हुसैन AIMIM में शामिल हो गए हैं और आगामी विधानसभा चुनाव में मुस्तफाबाद सीट से पार्टी के उम्मीदवार होंगे। ओवैसी ने लिखा, "ताहिर हुसैन ने AIMIM जॉइन किया है। उनके परिवार और समर्थकों ने मुझसे मुलाकात की और पार्टी में शामिल हुए।" इस घोषणा के बाद AIMIM को तीखी आलोचना का सामना करना पड़ रहा है। ओवैसी, जो अक्सर शांति और सौहार्द की बात करते हैं, ने एक ऐसे व्यक्ति को उम्मीदवार बनाया है जो देश की राजधानी को दंगों की आग में झोंकने और निर्दोष लोगों की हत्या कराने का आरोपित है।
ताहिर हुसैन पर 2020 के दंगों में सक्रिय भूमिका निभाने का आरोप है। उन्होंने खुद कोर्ट में स्वीकार किया था कि "हिंदुओं को सबक सिखाने के लिए दंगों की साजिश रची थी।" उनके घर से ईंट-पत्थर और पेट्रोल बम बरामद हुए थे। सोशल मीडिया पर वायरल एक वीडियो में उन्हें छत पर लोहे की रॉड के साथ देखा गया था। आईबी अधिकारी अंकित शर्मा की हत्या का आरोप भी ताहिर हुसैन पर है। कहा जाता है कि उनके निर्देश पर ही मुस्लिम दंगाइयों की भीड़ ने अंकित शर्मा की बर्बर हत्या की थी।
दिल्ली में हिंदू विरोधी दंगों के आरोपी ताहिर हुसैन ओवैसी की पार्टी AIMIM में शामिल हो गए हैं और उन्हें दिल्ली विधानसभा चुनाव के लिए टिकट दिया गया है। वह फिलहाल जेल में हैं।
— Pooja (@Pooja_Cric_04) December 10, 2024
उन पर आईबी अधिकारी अंकित शर्मा की बेरहमी से हत्या करने का भी आरोप है। pic.twitter.com/WpeNmURS0U
मुस्तफाबाद सीट मुस्लिम बहुल क्षेत्र है, जहां मुस्लिम वोट निर्णायक माने जाते हैं। यहां से आम आदमी पार्टी के हाजी यूनुस मौजूदा विधायक हैं, लेकिन इस बार पार्टी ने उनका टिकट काटकर आदिल खान को चुनाव मैदान में उतारा है। AIMIM के ताहिर हुसैन के मैदान में उतरने से मुस्लिम वोटों में बंटवारे की संभावना बढ़ गई है, जिससे आम आदमी पार्टी को नुकसान हो सकता है।
ओवैसी बार-बार देश में शांति और एकता की बात करते हैं, लेकिन उनके फैसले इसके उलट नजर आते हैं। एक ऐसे व्यक्ति को चुनावी मैदान में उतारना, जिसने राजधानी को दंगों में झोंकने की साजिश रची और निर्दोष लोगों की हत्या कराई, ओवैसी की मंशा और उनकी पार्टी की राजनीति पर गंभीर सवाल खड़े करता है।
यह निर्णय न केवल ओवैसी की राजनीति पर सवाल खड़े करता है, बल्कि यह भी दिखाता है कि कुछ राजनीतिक दल अपनी विचारधारा और नैतिकता को दरकिनार कर केवल वोट बैंक की राजनीति करते हैं। ऐसे दागी चेहरों को राजनीतिक मंच देने से समाज में और अधिक ध्रुवीकरण और अशांति का खतरा बढ़ सकता है।