नई दिल्ली: भाजपा की पूर्व प्रवक्ता नूपुर शर्मा द्वारा पैगंबर मुहम्मद के कथित अपमान के नाम पर पूरे देश में किए जा रहे दंगे को लेकर केेंद्रीय गृह मंत्रालय ने तमाम राज्यों और केंद्रशासित प्रदेशों की पुलिस को अलर्ट रहने के लिए कहा है। मंत्रालय ने कहा कि हिंसा के दौरान उन्हें टारगेट किया जा सकता है। बता दें कि शुक्रवार (10 जून 2022) को विरोध प्रदर्शन के नाम पर देश के कई शहरों में हिंसा हुई। इस दौरान दंगाइयों ने पुलिस पर हमला किया। इस दौरान तोड़फोड़, आगजनी और पत्थरबाज़ी की कई गंभीर एवं चिंताजनक घटनाएँ सामने आईं।
मंत्रालय के एक वरिष्ठ अधिकारी के मुताबिक, कानून-व्यवस्था बरक़रार रखने के लिए तैनात पुलिसकर्मियों से उचित दंगा गियर में रहने के लिए कहा गया है। देश में शांति-व्यवस्था को बिगाड़ने के लिए जानबूझकर कोशिश की जा सकती है। उन्होंने कहा कि पुलिस के साथ ही जरुरत होने पर अर्धसैनिक बलों को भी मुकाबला करने के लिए तैयार रहने की आवश्यकता है। अधिकारी ने यह भी कहा कि पुलिस को भड़काऊ भाषण देने वाले लोगों पर पैनी नजर रखने को कहा गया है। इसके अलावा, राज्य पुलिस से अपने भाषणों में हिंसा और भड़काऊ बयान देने वालों और उसे लाइव पोस्ट करने वालों की शिनाख्त करने के लिए कहा है, ताकि उनके खिलाफ कार्रवाई की जा सके।
गृह मंत्रालय ने सभी राज्यों से जरूरी कदम उठाने, सरहदों पर नजर रखने और संवेदनशील इलाकों को चिन्हित करने को कहा है। उत्तर प्रदेश और झारखंड समेत कई राज्यों में हिंसा और पुलिस पर हमले के मद्देनज़र यह निर्देश जारी किए गए हैं। बता दें कि पैगंबर के कथित अपमान के नाम पर पूरे देश में हिंसा और आगजनी की वारदातों को अंजाम दिया जा रहा है। शुक्रवार (10 जून 2022) को जूमे की नमाज के बाद हुई हिंसा में कई पुलिसकर्मी जख्मी हो गए। इस दौरान सार्वजनिक संपत्तियों को नुकसान पहुँचाने के साथ ही मीडिया और सोशल मीडिया पर हिंसा के लिए उकसाने वाले जहरीले बयान दिए गए। भीड़ को काबू करने के लिए पुलिस को लाठी चार्ज करना पड़ा। कई जगहों पर आँसू गैस को गोले छोड़े गए। वहीं, झारखंड में पुलिस पर हमले के बाद फायरिंग में दो लोगों की जान चली गई है।
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