मुंबई: NCP (अजित पवार गुट) के वरिष्ठ नेता छगन भुजबल राज्यसभा का टिकट नहीं प्राप्त होने से नाराज बताए जा रहे हैं। उन्होंने कहा है कि वह राज्यसभा जाने के इच्छुक थे। इसके लिए उन्होंने पार्टी के नेताओं से बात भी की थी मगर पार्टी ने उनकी जगह डिप्टी सीएम अजित पवार की पत्नी सुनेत्रा पवार को राज्यसभा चुनाव के लिए प्रत्याशी बनाया। सुनेत्रा ने राज्यसभा के लिए नामांकन भी भर दिया है।
पार्टी के इस फैसले के पश्चात् से छगन भुजबल नाराज चल रहे हैं। छगन भुजबल ने कहा कि उन्होंने न सिर्फ अभी बल्कि 6 वर्ष पहले भी राज्यसभा की उम्मीदवारी मांगी थी। उन्होंने कहा कि मेरी दिलचस्पी तभी हो गई जब 6 वर्ष पहले प्रफुल्ल पटेल को राज्यसभा भेजा गया। मैंने सोचा कि वक़्त आने पर हम बात करेंगे। लेकिन पार्टी ने किसी और को भेजने का फैसला किया है। दरअसल, राज्यसभा के प्रत्याशियों की रेस में छगन भुजबल का भी नाम था मगर पार्टी ने उनकी जगह उपमुख्यमंत्री अजित पवार की पत्नी को उतारने का फैसला किया। भुजबल ने कहा कि उनकी भी राज्यसभा में जाने की इच्छा थी। विधानसभा में 40 वर्ष हो गए। मंत्री पद मिला। उम्र बीत गई। कभी-कभी मैं संसद जाऊंगा। जिसे मैंने शाखा का प्रमुख बनाया। वह संसद के लिए चुने गए और मंत्री बने। मैं भी ऐसा सोचा।
उन्होंने कहा, ‘मेरे साथ काम करने वाले मनोहर जोशी लोकसभा अध्यक्ष बने। मैंने सोचा कि हमें भी चलना चाहिए। कई मित्र बोल रहे थे कि विधानसभा में कितने दिन हैं। तो इच्छा व्यक्त की। दूसरे दिन बैठक हुई। फिर चर्चा हुई। अजीतदादा उस वक़्त बाहर गए थे। चुनाव से एक दिन पहले इस पर चर्चा हुई थी। सभी ने सुनेत्रा ताई का नाम आगे बढ़ाया। उन्होंने कहा कि किसी ने नाराज नहीं हूं।’ आगे छगन भुजबल ने कहा कि आपकी हर इच्छी पूरी हो ये जरूरी नहीं। हर किसी को पार्टी के फैसले को स्वीकार करना होता है। राजनीति में लोगों को लगता है कि ये मौका मिलेगा मगर मौका हाथ से निकल जाता है। योग्य होते हुए भी उस पद पर नहीं जा सकते। लोकसभा चुनाव में सुनेत्रा पवार को बारामती सीट से हार का सामना करना पड़ा था। सुप्रिया सुले ने यहां से निरंतर चौथी जीत दर्ज की।
फिलिस्तीनी इस्लामिक जिहाद ने किया इजराइल के खिलाफ आतंकी संगठन हिजबुल्लाह के समर्थन का ऐलान