लखनऊ: उत्तर प्रदेश के मेरठ में 4 टाइम बम के साथ गिरफ्तार किए गए संदिग्ध युवक जावेद शेख को लेकर अब हैरान करने वाले खुलासे हो रहे हैं। जावेद शेख ने पहले पुलिस को बताया था कि उस बम बनाने का ऑर्डर मुजफ्फरगनर की निवासी इमराना नामक एक महिला ने दिया था। अब यूपी STF इमराना की तलाश में जुट गई है। जब यूपी STF ने IB के साथ ज्वाइंट ऑपरेशन में जावेद को अरेस्ट किया था, तो उसके पास से बॉटल IED वाले टाइमर बम मिले थे। उसका नेपाल कनेक्शन भी सामने आया था।
अब IB और यूपी STF की पूछताछ से पता चला है की इमराना ने साल 2013 में यूपी के मुज्जफरनगर में हुए दंगों में ऐसे ही लगभग 200 बम ऑर्डर देकर बनवाए थे और दंगों में बांटे थे। यही इनपुट IB को भी मिला था, जिसे एजेंसी ने यूपी STF के साथ साझा किया था, जिसके बाद जावेद शेख को अरेस्ट किया गया और उसके पास से 4 टाइमर बम बरामद किए गए। अब पुलिस ये जांच कर रही है कि, इस बार इमराना ने बॉटल वाला टाइमर बम बनाने का ऑर्डर जावेद को क्यों दिया ? इमराना को दबोचने के लिए एजेंसियों ने उसके मुजफ्फरनगर स्थित ठिकानों पर भी दबिश दी, मगर वो वहां नहीं मिली।
जावेद शेख के पास क्या-क्या मिला?
मीडिया रिपोर्ट के अनुसार, आरोपी जावेद शेख के पास 4 टाइमर बम के अलावा बोतल के अंदर गन पाउडर 999, लोहे की छोटी गोलियां, कॉटन और पीओपी आदि बरामद हुआ है। जावेद ने पूछताछ में कबूला है कि इमराना ने उसे बोतल बम बनाने के लिए 50 हजार रुपये देने का वादा किया था। उसे 10 हजार रुपये एडवांस भी मिल चुके थे। बाकी 40 हजार रुपये बम देने पर मिलने वाले थे। जावेद ने यह भी कबूला है कि उसने बम बनाना अपने चाचा मोहम्मद अर्शी से सीखा था। अर्शी मुजफ्फरनगर के मिमलाना रोड पर स्थित रामलीला टीला थाना कोतवाली नगर इलाके का निवासी है और पटाखे बनाने के काम में हैं। मोहम्मद अर्शी से ही जावेद ने भी बम बनाना सीखा लिया। जावेद ने बताया कि बम बनाने के लिए उसने डॉक्टरों से ग्लुकोज की बोतलें ली और साइकिल की दुकान से लोहे के छर्रे ले आया। साथ ही टाइम बम में लगाने के लिए घड़ियों की दुकान से घड़ी खरीदी थी।
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