नई दिल्ली: कोरोना वायरस से पूरी दुनिया में कोहराम मचा हुआ है। लोग हैरान और खौफजदा है। इस बीच भारत में कोरोना वायरस से अब तक 9 लोगों की जान जा चुकी है। देश में अब तक कोरोना पॉसिटिव मरीज की तादाद 500 तक पंहुच चुकी है। दिन व दिन बढ़ते कोरोना के प्रकोप को देखते हुए सरकार ने युद्ध स्तर की तैयारी कर ली है। इस बीच एक बड़ी खबर सामने आई है।
दरअसल कोरोना वायरस से संक्रमित मरीजों के उपचार के लिए इंडियन काउंसिल ऑफ मेडिकल रिसर्च ने मलेरिया बुखार के उपचार में काम आने वाली दवा के इस्तेमाल को स्वीकृति दी है। भारतीय चिकित्सा अनुसंधान परिषद (ICMR) द्वारा गठित नेशनल टास्क फोर्स ने मलेरिया की दवा हाइड्रॉक्सी-क्लोरोक्वीन को कोविड-19 के उपचार के लिए मंजूरी दी है। स्वास्थ्य मंत्रालय ने इस सम्बन्ध में जानकारी देते हुए स्पष्ट किया कि ये एडवाइजरी उन लोगों के लिए जारी की है जो संदिग्ध या पुष्ट कोरोना के मरीजों का उपचार कर रहे हैं।
हालांकि इस दवा का उपयोग अभी आपात परिस्थिति में सीमित मात्रा में ही किया जाएगा। इस दवा की सिफारिश 15 वर्ष से कम उम्र के बच्चों के लिए नहीं की गई है। जानकारी के अनुसार, पहले 400 मिलीग्राम की दवा दिन में दो दफा ली जाएगी। इसके बाद 400 मिलीग्राम हफ्ते में एक बार 7 हफ्तों तक लिया जाएगा। हालांकि कुछ डॉक्टरों का कहना है कि बगैर डॉक्टर की अनुमति के ये दवा लेना खतरनाक साबित हो सकती है।