IPL की आठ फ्रेंचाइजी टीमों के मालिकों की सोमवार को टेली कॉन्फ्रेंस के दौरान कोई फैसला नहीं किया गया. भारत और दुनियाभर में फैले कोरोना वायरस महामारी को लेकर पिछले 48 घंटों में कोई बदलाव नहीं आया है. IPL 2020 को पहले 29 मार्च से शुरू होना था, लेकिन अब इसे 15 अप्रैल तक टाल कर दिया गया है. भारत में कोरोना वायरस के अब तक 110 से ज्यादा मामले दर्ज किए गए हैं, जबकि दो की मौत हो चुकी है. एक IPL फ्रैंचाइजी के मालिक ने गोपनीयता की शर्त पर पीटीआई से कहा, 'आज की बैठक में कुछ भी ठोस चर्चा नहीं हुई. पिछले 48 घंटों में स्थिति में बदलाव नहीं आया है इसलिए IPL के आयोजन की बात करना अभी जल्दबाजी होगी. हमें देखो और इंतजार करो की नीति अपनानी होगी. हम स्थिति का जायजा लेने के लिए साप्ताहिक आधार पर इस तरह की कॉन्फ्रेन्स बैठक करते रहेंगे.'
जानकारी के लिए हम बता दें कि इस बैठक से पहले एक अधिकारी ने कहा कि बीसीसीआई के साथ हुई बैठक में सर्वसम्मित से यह फैसला लिया गया था कि सुरक्षा पहले है और हम ऐसी स्थिति में साथ हैं. देखते हैं कि चीजें कैसे होती हैं, हो सकता है कि इस साल लीग न हो. उनसे जब पूछा गया कि क्या फ्रेंचाइजियां इस नुकसान के लिए तैयार हैं तो अधिकारी ने कहा कि कोई और विकल्प नहीं है.
रिपोर्ट्स के अनुसार अधिकारी ने कहा, 'हमें 15-20 करोड़ रुपये का नुकसान होगा, जो हमें वेतन देने और बाकी चीजों से होगा. यह पैसा लीग के सफल आयोजन से आता है. लेकिन कुछ अन्य नुकसान भी हैं और यह मचेर्ंडाइज आदि की बिक्री से आता है. टिकट आदि चीजों का बीमा है, लेकिन यह इस तरह का नुकसान है जो लीग के न होने पर फ्रेंचाइजियों को ही उठाना पड़ेगा. लेकिन हमें पता है कि कोई भी चीज इंसान की सुरक्षा से बढ़कर नहीं है.' इससे पहले बीसीसीआई अध्यक्ष सौरव गांगुली ने छोटे IPL के संकेत दिए. वहीं, इस खतरनाक वायरस के प्रकोप की वजह से बीसीसीआई ने मंगलवार से कर्मचारियों ने घर से काम करने के लिए कहा है.
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