पटना. बिहार में आरक्षण की लड़ाई छिड़ी है. तमाम सियास दर लगातार बयानबाजी कर रहे हैं. हर रोज कोई न कोई बड़ा बयान सुनने को मिलता है. इसी बीच आरक्षण के मुद्दे पर अपनी अलग राय रखने वाले जदयू नेता श्याम रजक ने कहा है कि दलितों के अारक्षण के लिए मरते दम तक लड़ाई लड़ेंगे, इसके लिए चाहे मेरी हत्या ही क्यों ना करा दी जाए. उन्होंने कहा कि इस मुद्दे को लेकर केंद्र सरकार को सोचना चाहिए और कानून बनाकर लागू करना चाहिए.
मुख्यमंत्री पर निशाना साधते हुए कहा कि मैंने सत्ता में रहने वालों से सवाल किया है. श्याम रजक ने कहा था कि नीतीश कुमार ने आरक्षण के लिए थोड़ा-बहुत काम किया. गौरतलब है कि कल महादलित नेताओं पूर्व विधायक अरुण मांझी, रवि ज्योति व जदयू महादलित प्रकोष्ठ के नेता हुलेश मांझी ने प्रेस कॉन्फ्रेंस कर श्याम रजक पर जमकर हमला बोला था.
श्याम रजक यहीं नहीं रुके. उन्होंने कहा कि आजादी के 70 सालों के बाद भी दलितों कि स्थिति बद से बदतर है और कोई भी सरकार कुछ नहीं कर पा रही है. एेसे में केंद्र की एनडीए सरकार की जिम्मेदारी बनती है कि वो दलितों के उत्थान के लिए कदम उठाए और इसके लिए केवल बातें करने से नहीं, काम करने से होगा.
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