पटना। हिन्दुस्तानी आवाम मोर्चा के प्रमुख जीतन राम मांझी ने बिहार सरकार का विरोध किया है। उनका कहना है कि बिहार में भले ही शराबबंदी है लेकिन हालात ये है कि रसूखदार लोग आसानी से इसे प्राप्त कर रहे हैं। उन्होंने कहा कि शराब की सप्लाय में बड़े अधिकारियों की मिलीभगत है। मांझी का कहना था कि वे एनडीए में शामिल हो चुके हैं, सत्ता के साथ होने का अर्थ यह नहीं है कि कुछ भी गलत हो रहा है। वे खामोश हैं।
उनका कहना था कि वे एक सच्चे मित्र हैं। हालांकि उन्होंने शराबबंदी के समर्थन में चर्चा की। उनका कहना था कि लगभग 71 हजार लोग जेल में बंद हैं। जिनमें से 60 हजार लोग गरीब हैं। उन्होंने शराब से होने वाले नुकसानों की चर्चा भी की। उन्होंने बताया कि बड़ी माता को उनकी माता मदिरा का भोग लगाया करती थीं।
मगर मौजूदा हालात में यदि वे होती और शराब लेकर आतीं तो फिर उन्हें जेल जाना पड़ता। उनके रीति - रिवाज में दवा के साथ ही मदिरा का भी प्रचलन है मगर अब तो शराब को प्रतिबंधित कर दिया गया है। उल्लेखनीय है कि, जीतनराम मांझी बिहार के मुख्यमंत्री रहे हैं।मांझी को बिहार का प्रमुख नेता माना जाता है। वे बिहार में दलितों के नेता माने जाते हैं
बांकेबिहारी मंदिर में दर्शन के समय में हुए बदलाव