भोपाल: मध्य प्रदेश के पूर्व मुख्यमंत्री और कांग्रेस नेता कमलनाथ ने एक बार फिर से राज्य सरकार को निशाने पर लिया है। जी दरअसल उन्होंने राज्य सरकार पर कोरोना से संबंधित मौतों को छुपाने का आरोप लगाया है। हाल ही में उन्होंने यह दावा किया कि राज्य भर में मार्च और अप्रैल में संक्रमण से एक लाख से अधिक लोग मारे गए थे। बीते शनिवार को उज्जैन में मीडिया से बात करते हुए, उन्होंने कहा, "मैंने खुद हिसाब लगाया, 26 जिलों की जानकारी अखबारों में थी और बाकी जिलों से जानकारी जुटाई। मार्च और अप्रैल में 1,27,000 शव श्मशान घाट पहुंचे। मेरे अनुसार, उनमें से 80 प्रतिशत COVID पीड़ितों के थे।"
वहीँ आधिकारिक आंकड़ों के अनुसार, छत्तीसगढ़ में COVID-19 के कारण मरने वालों की संख्या 7,394 है। इसी को देखते हुए पूर्व सीएम ने आरोप लगाया है कि, "वर्तमान सरकार के COVID-19 से संबंधित तथ्यों और आंकड़ों को छिपाने और छिपाने के दृष्टिकोण से समस्या का समाधान नहीं होगा, बल्कि इसे और खराब कर दिया जाएगा। सरकार COVID-19 से नहीं, बल्कि आलोचना से लड़ रही है। कुछ पत्रकारों के खिलाफ भी केस किया गया है। वे छवि प्रबंधन में व्यस्त हैं, COVID प्रबंधन में नहीं।”
इसी के साथ उन्होंने यह भी कहा कि, "जब राष्ट्रीय और अंतर्राष्ट्रीय मीडिया दूसरी लहर के बारे में बात कर रहा था, तब पीएम मोदी पर दावा किया गया था कि हमने कोरोना के खिलाफ लड़ाई लड़ी है। 6.7 करोड़ वैक्सीन खुराक का निर्यात किया गया था।" इसी के साथ आगे उन्होंने कहा, "अगर मेरे पास शक्ति होती, तो अक्टूबर से ही कोरोना वैक्सीन और दवाओं का बफर स्टॉक होता। राज्य भर में कई सरकारी बुनियादी ढांचे हैं जिन्हें आइसोलेशन सेंटर में बदला जा सकता है।" उन्होंने इस बात को दोहराया, "कोरोना पहले चीनी और अब भारतीय संस्करण के रूप में बदनाम हो गया है।" आप सभी जानते ही होंगे कमलनाथ अपने बयान के अलावा अपने एक पुराने वीडियो को लेकर भी चर्चाओं में है जिसमे उन्होंने बहुत कुछ अभद्र कहा है।
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