हनुमान चालीसा का पाठ करते समय रखें ये सावधानी

हनुमान चालीसा का पाठ करते समय रखें ये सावधानी
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भगवान हनुमान की सच्चे दिल से सेवा करने से यह बहुत ही जल्द अपने भक्तों को संकट से निकाल लेते हैं उन्हे संकट से मुक्त कर देते हैं। और इसलिए इनके भक्त रोज इनकी सच्चे मन से आराधना करते है। धार्मिक मान्यता के अनुसार अगर आप सच्चे मन से हनुमान चालीसा का पाठ करते हैं तो निश्चित ही आपके सारे संकट दूर हो जाते है। लेकिन आमतौर पर यह देखा गया है कि हम हनुमान चालीसा का पाठ तो करते हैं पर उस बीच हम अंजाने में कुछ ऐसी गलतियां भी कर बैठते हैं जिसका हमे अंजादा भी नहीं होता कि इन छोटी-छोटी गलतियों से हमें कई नुकसान का सामना भी करना पड़ता है आज हम आपको हनुमान चालीसा के पाठ करते समय रखने वाली सावधानी से अवगत कराने जा रहे हैं जिसे करके आप कई प्रकार के होने वाले नुकसान से भी बच सकते हैं।

आपकी जानकारी के लिए हम आपको बता दें कि हनुमान चालीसा की हर एक लाइन का अपना ख़ास अर्थ और महत्व है. इस चालीसा को तुलसीदास जी ने लिखा था. इसलिए इस चालीसा को सर्वाधिक शक्तिशाली और लोकप्रिय माना जाता है. हनुमान चालीसा का पाठ पढ़ते समय हनुमान और भगवान राम के इष्ट चित्र की स्थापना करना अनिवार्य है. पाठ संपन्न होने के बाद भगवान की मूर्ती के समक्ष पवित्र जल से भरा हुआ एक बर्तन रखें. अब आप आँखें बंद करके सचे मन से चालीसा का जाप करें. हो सके तो कम से कम इस चालीसा का पाठ 3 बार से लेकर 108 बार करें.

जब आपका पाठ पूरा हो जाए तो पास रखा जल प्रसाद के रूप में ग्रहण करें और घर में बांटें. पाठ के समय एक बात का ख़ास ध्यान रखें कि आप जब भी हनुमान चालीसा पढें, उसका वक्त हर रोज़ एक ही हो. इसके इलावा अगर आप चाहें तो सोने से पहले या किसी यात्रा के दौरान भी इस पाठ को पढ़ सकते हैं.

हनुमान चालीसा की कोई भी एक पंक्ति का चुनाव अपनी आवश्यकता के अनुसार करें और नित्य प्रातः तुलसी की माला पर मंत्र की तरह 3 से लेकर 11 माला तक का जाप करें. इसके अलावा इस समय के दौरान अपने खान-पान और आचरण की शुद्धता पर भी खास ध्यान दें. हमेशा भगवान श्री राम की पूजा के बाद ही हनुमान चालीसा का जाप करें.

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