कोलकाता: पश्चिम बंगाल में भाजपा विधायक शुभेंदु अधिकारी (Suvendu Adhikari) को कोर्ट से बड़ी राहत मिली है. बॉडीगार्ड की मौत के मामले समेत तीन मामलों में कलकत्ता उच्च न्यायालय की डिवीजन बेंच ने बुधवार को सुनवाई करते हुए सिंगल बेंच के फैसले को बरकरार रखा है. अदालत ने स्पष्ट आदेश दिया कि शुभेंदु अधिकारी के खिलाफ कोई सख्त कदम न उठाया जाए. यदि कोई नई FIR दर्ज होती है, तो पहले अदालत को जानकारी देनी होगी. इसके साथ ही शुभेंदु अधिकारी को जांच में सहयोग करना होगा.
डिवीजच बेंच ने स्पष्ट किया कि शुभेंदु के खिलाफ तीन मामलोंः कांथी में बॉडीगार्ड की मौत, नंदीग्राम में जुलूस और तमलुक में एसपी अधिकारी को लेकर हुए मामले में सिंगल बेंच का यह आदेश प्रभावी रहेगा. खंडपीठ अब इस मामले की सुनवाई नहीं करेगी. सिंगल बेंच का आदेश उनके खिलाफ कोई सख्त कार्रवाई नहीं करने का था. फिलहाल यह निर्देश प्रभावी है. जस्टिस सुब्रत तालुकदार की खंडपीठ ने यह आदेश दिया है.
बता दें कि इस मामले में शुभेंदु अधिकारी पर इल्जाम है कि उन्होंने अपने सुरक्षा गार्ड को ख़ुदकुशी के लिए उकसाया था. शुभब्रत चक्रवर्ती, शुभेंदु अधिकारी के तृणमूल कांग्रेस (TMC) के सांसद होने के दौरान से ही भाजपा विधायक की सुरक्षा टीम का हिस्सा थे. मामले की जांच के तहत इस साल जुलाई में चार सदस्यीय CID टीम ने पूर्व मेदिनीपुर में शुभेंदु अधिकारी के आवास पर रेड मारी थी. CID के अधिकारी कथित तौर पर शुभब्रत चक्रवर्ती के पूर्व सहकर्मियों से पूछताछ और जानकारी एकत्रित करने के बाद नंदीग्राम विधायक शुभेंदु अधिकारी के घर पहुंचे थे.
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