नई दिल्ली : नवम्बर माह में एक रिकॉर्ड स्तर पर पहुंचने के बाद स्टॉक मार्केट अब एक सी स्थिति में कारोबार कर रहा है. हालाँकि मार्केट में हमेशा ही अनिश्चित माहौल बरक़रार रहता है और उतार-चढ़ाव लगा रहता है, जिससे मार्केट कब उभरेगा यह किसी को ज्ञात नहीं है. लेकिन इस माह में रिकॉर्ड कायम करने के बाद मार्केट एक रेंज में ही बिजनेस कर रहा है. वहीं एक्सपर्ट्स का कहना है कि अगले महीने गुजरात चुनाव से इसमें बदलाव हो सकते हैं. वहीं कुछ और ट्रिगर के चलते मार्केट पर इनका असर पड़ सकता है.
फिलहाल तो अभी मार्केट की नज़रे गुजरात चुनाव पर टिकीं हुई हैं. अगर गुजरात के चुनाव में बीजेपी को जीत मिलती है तो मार्केट में एक और नया रिकॉर्ड कायम हो सकता है जिसमे निफ़्टी 10,700 के स्तर तक पहुंच सकता है, वहीं अगर नतीजे इसके विपरीत होते हैं तो यही आंकड़ा 10,000 के स्तर पर ठहर सकता है.
इस महीने हालांकि सरकार के बैंक रिकैपिटलाइजेशन प्लान और 7 लाख करोड़ के इंफ्रा बूस्ट ने मार्केट को बहुत अच्छा सपोर्ट दिया और जिस वजह से 6 नवम्बर को मार्केट ने एक नया कीर्तिमान गढ़ा. इसके बाद से मार्केट एक रेंज में व्यापार कर रहा है.
वहीं एक्सपर्ट्स का मानना है कि गुजरात चुनाव के अलावा ओपेक देशों की बैठक से भी बाज़ार पर असर होगा. 30 नवम्बर को यह मीटिंग हो सकती है. बता दें कि क्रूड प्रोडूसर देशों ने जनवरी से क्रूड प्रोडक्शन में 1.8 मिलियन बैरल प्रति दिन कट किया हुआ है और इसकी अंतिम तारिख मार्च में खत्म होनी है. इस डेडलाइन को आगे बढ़ाने के लिए ही यह बैठक की जा रही है. जानकारी के अनुसार इस डेडलाइन को 9 माह के लिए बढ़ाया जा सकता है. अगर यह तारीख आगे बढ़ती है तो इसका भी मार्केट पर असर दिखेगा.
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