सोल: ऐसा तो इतिहास में पाया जाता हैं कि जंग में इतना खून बहा कि धरती लाल हो गई या नदी लाल हो गई परन्तु उत्तर कोरिया और दक्षिण कोरिया की सीमा के बीच बहने वाली एक नदी सच में इन दिनों खून से सुर्ख लाल है। दक्षिण कोरिया में अफ्रीकी स्वाइन फीवर तेजी से फैलता जा रहा है। ऐसे में सरकार की तरफ से एक अभियान चलाकर सुअरों को मारा जा रहा है। पहला मामला सामने आने के बाद से अब तक दक्षिण कोरिया ने करीब 3.80 लाख सुअरों को मार दिया है। बता दें कि स्वाइन फीवर से इंसानों को कोई नुकसान नहीं होता है लेकिन सुअरों के लिए यह जानलेवा हो सकता है। फिलहाल इसका कोई उपचार नहीं है। सोल में इसका पहला मामला सितंबर में सामने आया था।
कोई दूसरा उपचार नहीं होने के वजह से सरकार के पास स्वाइन फीवर को फैलने से रोकने के लिए जानवरों को मारने के अलावा कोई दूसरा रास्ता नहीं बचा है। एक स्थानीय NGO का कहना है कि पिछले सप्ताह भारी बारिश हुई और जिस जगह पर सुअरों को मारा जा रहा था, वहां से खून बहकर कोरियाई सीमा के पास पहुंच गया और इमजिन नदी लाल हो गई। इस जगह पर 47,000 सुअरों को मारा गया है।
एनजीओ के प्रमुख ली सुक-वू ने कहा कि इस प्रकार खून से नदी का लाल रंग दिखने से लोग काफी परेशान हैं।इसके साथ ही काफी दूर तक बदबू भी फैल गई है। हालत तो यह है कि पास के खेतों में किसान काम करने ही नहीं जा पा रहे हैं। अफसरों का कहना है कि नदी के पानी से दूसरे जानवरों को यह रोग नहीं फैलेगा क्योंकि मारे जाने से पहले सभी सुअरों को संक्रमणरहित कर दिया गया था। जिसकी वजह से दूसरे जानवरो में ये संक्रमण नहीं फैलेगा|
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