लखनऊ : मेट्रो मैन के नाम से मशहूर ई श्रीधरन ने पिछले महीने सीएम योगी से मुलाकात कर लखनऊ और कानपुर मेट्रो प्रॉजेक्ट्स के लिए सलाहकार की भूमिका से इस्तीफा देने की पेशकश की थी. जिसे सीएम योगी ने न केवल सिरे से नकार दिया था बल्कि उन्हें और अतिरिक्त दायित्व सौंप दिया गया . इस बात का रहस्योद्घाटन खुद श्रीधरन ने डीएमआरसी ऑफिस के कॉन्फ्रेंस रूम में किया.
उल्लेखनीय है कि अपने काम के बोझ को कम करने के इरादे से 85 वर्षीय ई श्रीधरन ने 22 जून को सीएम योगी आदित्यनाथ से मुलाकात कर सीएम से इस्तीफे की पेशकश की थी. बकौल श्रीधरन, जब मैंने इस्तीफे की पेशकश की तो सीएम योगी ने स्पष्ट कहा कि वे इस्तीफा देने की इजाजत नहीं दे सकते . उल्टे सीएम ने वाराणसी, आगरा, मेरठ और गोरखपुर के काम का दायित्व भी उन्हें सौंप दिया .बता दें, सीएम से मुलाकात के बाद श्रीधरन ने तब लखनऊ में प्रेस कांफ्रेंस की थी. इसके बाद वे कोच्चि चले गए थे.
दरअसल श्रीधरन के अनुसार इस बैठक में वे मेट्रो प्रोजेक्ट्स की रिपोर्ट लेकर गए थे. जहाँ सीएम योगी वाराणसी की रिपोर्ट से खुश नहीं थे. सच तो यह है कि सीएम मंदिर के पास किसी भी तरह के निर्माण के पक्ष में नहीं है.यही नहीं वे वाराणसी में अधिकतर अंडरग्राउंड मेट्रो चाहते हैं. सीएम योगी ने मेट्रो से वाइब्रेशन के संबंध में भी जानकारी ली थी.
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