इराक ने भी अमेरिका के खिलाफ मोर्चा खोल दिया है. बता दे कि ईरान पर बीते दिनों अमेरिका ने ड्रोन हमला किया है. अब रविवार को इराक की संसद ने अमेरिकी सैनिकों को अपने यहां से हटाने के लिेए संसद का एक विशेष सत्र बुलाया है. सांसदों ने रॉयटर को बताया कि वह इराक से अमेरिकी सैनिकों वापस भेजने के लिए सांसद वोटिंग के जरिए एक प्रस्ताव पास करेंगे.
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इस मामले को लेकर शुक्रवार को बगदाद हवाई अड्डे पर अमेरिकी ड्रोन हमले में ईरानी मिलिशिया नेता अबू महदी अल-मुहांडिस और ईरान समर्थित कुर्द बल के प्रमुख मेजर जनरल कासिम सुलेमानी मारे गए थे.
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आपकी जानकारी के लिए बता दे कि एशिया विधायक और संसदीय कानून समिति के सदस्य अम्मार अल-शिबली ने कहा, ' इराक से इस्लामिक स्टेट को हराने के बाद अमेरिकी सेना की यहां कोई आवश्यकता नहीं है. हमारे पास अपने सशस्त्र बल हैं जो देश की रक्षा करने में सक्षम हैं.'वही, दशकों तक ईरान और संयुक्त राज्य अमेरिका के बीच दुश्मनी के बावजूद ईरान समर्थित मिलिशिया और अमेरिकी सैनिकों ने इस्लामिक स्टेट के आतंकवादियों के खिलाफ इराक के 2014-2017 के युद्ध के दौरान कंधे से कंधा मिलाकर लड़ाई लड़ी. इराक में लगभग 5,000 अमेरिकी सैनिक रहते हैं.
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