डॉ. कृष्णमूर्ति सुब्रमण्यन को सरकार ने मुख्य आर्थिक सलाहकार यानि (सीईए) बनाया है। उनकी नियुक्ति 3 साल के लिए होगी। सुब्रमण्यन इंडियन स्कूल ऑफ बिजनेस, हैदराबाद में एसोसिएट प्रोफेसर हैं। इस जुलाई में अरविंद सुब्रमण्यन के इस्तीफे के बाद सीईए का पद खाली था।
बैंकिंग,कॉरपोरेट गवर्नेंस और इकोनॉमिक पॉलिसी के विशेषयज्ञ
कृष्णमूर्ति शिकागो यूनिवर्सिटी से फाइनेंशियल इकोनॉमिक्स में पीएचडी और टॉप रैंकिंग वाले आईआईटी-आईआईएम एलुमिनाई हैं। आरबीआई के पूर्व गवर्नर रघुराम राजन कृष्णमूर्ति के संयुक्त पीएचडी गाइड थे। बैंकिंग, कॉरपोरेट गवर्नेंस और इकोनॉमिक पॉलिसी विशेषज्ञ के तौर पर कृष्णमूर्ति को दुनियाभर में पहचाना जाता है
कार्यकाल पूरा होने से पहले ही सुब्रमण्यन ने दिया था इस्तीफा
पूर्व मुख्य आर्थिक सलाहकार अरविंद सुब्रमण्यम ने इस साल जुलाई में निजी कारणों के कारण इस्तीफा दे दिया था। हालांकि, उनका कार्यकाल मई 2019 तक ही था। वो 16 अक्टूबर 2014 को मुख्य आर्थिक सलाहकार के पद पर आये थे। सुब्रमण्यम ने पिछले हफ्ते नोटबंदी पर पहली बार बोलते हुए कहा था कि वह फैसला बेहद सख्त था। नोटबंदी की वजह से आर्थिक विकास दर धीमी हुई.
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