नई दिल्ली: नेशनल कंपनी लॉ ट्रिब्यूनल (NCLT) ने रिलायंस इन्फ्राटेल (RITL) के अधिग्रहण के लिए रिलायंस जियो (Reliance jio) को आज यानी सोमवार (21 नवंबर) को अनुमति दे दी है। इसके साथ ही NCLT ने जियो को आरकॉम के टावर और फाइबर संपत्तियों के अधिग्रहण को पूरा करने के लिए स्टेट बैंक ऑफ़ इंडिया (SBI) के एस्क्रो अकाउंट में 3,720 करोड़ रुपये जमा करने के निर्देश दिए हैं।
रिपोर्ट के अनुसार, जियो (Jio) ने रिलायंस इन्फ्राटेल के अधिग्रहण को पूरा करने के लिए 6 नवंबर को एस्क्रो अकाउंट में 3,720 करोड़ रुपये डिपाजिट करने का प्रस्ताव रखा था। बता दें कि रिलायंस इन्फ्राटेल, दरअसल दिवाला समाधान प्रक्रिया से गुजर रही है। उद्योगपति मुकेश अंबानी के नेतृत्व वाली जियो ने नवंबर, 2019 में अपने छोटे भाई अनिल अंबानी के प्रबंधन वाली कंपनी रिलायंस कम्युनिकेशंस की कर्ज के बोझ तले दबी अनुषंगी की टावर और फाइबर संपत्तियां हासिल करने के लिए 3,720 करोड़ रुपये की बोली लगाई थी।
जिसके बाद ऋणदाताओं की समिति (COC) ने जियो की समाधान योजना को चार मार्च, 2020 को शत प्रतिशत मत के साथ हरी झंडी दे दी थी। IRTL के पास देश भर में तक़रीबन 1.78 लाख रूट किलोमीटर की फाइबर संपत्ति और 43,540 मोबाइल टावर है।
अपने ग्राहकों को बड़ी खुशखबरी दे सकता है PNB बैंक, ATM विथड्रॉ में हो सकता है ये बदलाव
'दुनिया की दूसरी सबसे बड़ी अर्थव्यवस्था बनेगा भारत..', गौतम अडानी ने जताया विश्वास