पटना: बिहार भाजपा इकाई के अध्यक्ष सम्राट चौधरी बुधवार को पूर्व MLA जवाहर प्रसाद की गिरफ्तारी के विरोध में महाधरना देने के लिए सासाराम पहुंचे। हालाँकि, सासाराम के द्वार से सम्राट चौधरी को खाली ही लौटना पड़ा। जेल प्रशासन ने उन्हें निरीक्षण करने की अनुमति नहीं दी। जिसके बाद उन्होंने नीतीश सरकार पर तानाशाही रवैया अपनाने का इल्जाम लगाया।
भाजपा नेता सम्राट चौधरी ने कहा कि मुझे जेल के निरीक्षण का अधिकार है, इसके बाद भी मुझे रोका जा रहा है। जबकि, संविधान ने मुझे यह विशेष अधिकार प्रदान किया है कि मैं किसी भी जेल का निरीक्षण कर सकता हूं। उन्होंने आरोप लगाते हुए कहा कि नीतीश कुमार की सरकार में साधु, संतों व पांच बार के MLA को जेल में कैद रखा जा रहा है, वहीं यह सरकार गुंडों को छोड रही है। मीडिया से बात करते हुए सम्राट चौधरी ने कहा कि तानाशाही की सरकार अधिक दिनों तक नही चलने वाली है। भाजपा के बढ़ते ग्राफ को देखकर नीतीश कुमार बदले की भावना से कार्रवाई कर रहे हैं।
सम्राट ने कहा कि, 5 बार से सासाराम के विधायक रहे जवाहर प्रसाद को अनुचित तरीके से जेल भेजा है। इससे पहले मंगलवार को बेगूसराय पहुंचे सम्राट चौधरी ने पूर्व MLA आनंद मोहन का नाम लिये बगैर नितीश सरकार को निशाने पर लेते हुए कहा था कि अपराधियों को जेल से रिहा किया जा रहा है। बिहार में भाजपा की सरकार आती है, तो अपराधियों को मिट्टी में मिला दिया जाएगा। उनके साथ कोई समझौता नहीं किया जाएगा। सम्राट ने कहा कि रामनवमी जुलूस में सांप्रदायिक हिंसा में साजिश के तहत भाजपा के लोगों को फंसाया जा रहा है।
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