महामारी कोरोना के मरीजों के उपचार के लिए रोहतक पीजीआई में काला पीलिया की दवा का उपयोग करने की बात कही है. जिसकी दवा को ट्रॉयल करने की मंजूरी प्राप्त हो गई है. दवा को लेकर जिम्मेदार विभाग से 86 लाख रुपए की राशि को भी मंजूर कर दिया गया है. हैल्थ यूनिवर्सिटी के वीसी डॉ ओपी कालरा ने ये जानकारी दी. दरअसल विश्व के पांच देशों में काला पीलिया की दवाई से कोरोना रोगियों को स्वस्थ करने के लिए ट्रॉयल किया गया था, जिसके परिणाम पॉजीटिव रहे हैं. इसके पश्चात रोहतक पीजीआई की तरफ से भी ट्रॉयल करने के लिए डिपार्टमेंट ऑफ बायोटेक्नोलॉजी से इजाजत मांगी गई है.
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पीजीआई वीसी ओपी कालरा के अनुसार पीजीआई में ट्रॉयल की इजाजत प्राप्त हो चुकी है. जिसमें उन्हें ट्रॉयल के लिए 86 लाख रुपए की राशि देने की बात कही गई हैं. उन्होंने कहा कि अन्य देशों की तुलना में यदि हमारे यहां काला पीलिया की दवा से कोरोना रोगी स्वस्थ होते हैं, तो ये राहत की बात होगी. परंतु ये देखना होगा कि ये वैक्सीन कितनी कारगर साबित होती है.
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दूसरी ओर पीजीआई में विशेष कोरोना आईसीयू बनाने की मांग की है, जिसके तहत उन्होने सरकार के समक्ष प्रस्ताव रखा है. प्रस्ताव में बताया गया कि हमारे पास बिल्डिंग है, 12 बेड का आईसीयू कम पैसे और कम वक्त में स्थापित हो जाएगा. इससे पहले दुनियाभर के 5 देशों में काला पीलिया की दवाई का ट्रायल चालू किया गया है, जिसके पॉजीटिव रिजल्ट आए है. जिसे आधार बनाकर अब पीजीआई में भी कोरोना रोगियों पर पीलिया की दवाई का परीक्षण किया जा रहा है.
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