नई दिल्ली : सार्वजनिक क्षेत्र की दिग्गज कंपनी ओएनजीसी का मानना है कि अब प्राकृतिक गैस का उत्पादन करना फायदे का व्यवसाय नहीं रहा. इसका कारण यह है कि सरकार ने विदेशों की तर्ज पर गैस मूल्य तय करने का जो फार्मूला तय किया है, वह गैस की उत्पादन लागत से काफी कम है.इसलिए ओएनजीसी ने सरकार से गैस का मूल्य तय करने वाले फार्मूले को बदलने की अपील की है.
इस बारे में ONGC के चेयरमैन और एमडी दिनेश के सर्राफ का कहना है कि पिछले वित्त वर्ष में प्राकृतिक गैस व्यवसाय से कंपनी को आय में 5,010 करोड़ रुपये और लाभ में 3,000 करोड़ रुपये का घाटा हुआ है. नए फार्मूले के कारण लगातार दो साल से गैस की कीमतें गिर रही हैं. नए फार्मूले के लागू होने के बाद से अब तक प्राकृतिक गैस के दाम आधे रहकर 2.48 डॉलर (160.06 रुपये) प्रति दस लाख ब्रिटिश थर्मल यूनिट रह गये हैं.
आपको बता दें कि केंद्र सरकार ने अक्टूबर 2014 में घरेलू गैस के लिए नया फार्मूला तय किया था. दरअसल यह फार्मूला अमेरिका, कनाडा और रुस जैसे गैस की अधिकता वाले देशों से होने वाले कुल आयात मूल्य के हिसाब से तय किया जाता है. जो हमारे देश में सफल नहीं हो रहा है.
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